विधानमंडल की कार्यवाही के दाैरान पक्ष-विपक्ष के बीच गहमागहमी के साथ ही ठहाके की गूंज भी सुनायी दी संवाददाता,पटना विधानमंडल की कार्यवाही के दाैरान पक्ष-विपक्ष के बीच गहमागहमी के साथ ही ठहाके की गूंज भी सुनायी दी. विधानसभा में संसदीय कार्य मंत्री विजय कुमार चौधरी ने घोसी के माले विधायक रामबली सिंह यादव से पूछा, क्या, रामबली बाबू अपने दल से अलग हो गये हैं? इसका जवाब रामबली सिंह यादव की जगह विधानसभा अध्यक्ष नंद किशोर यादव ने दिया. विधानसभा अध्यक्ष ने कहा कि रामबली बाबू सरकार के साथ हैं. इसको लेकर पूरे सदन में ठहाका लगने लगा. हुआ यूं कि माले विधायक रामबली सिंह यादव प्रश्न पूछने के लिए अपनी सीट पर खड़े हुए. उस समय विपक्ष के सदस्य हंगामा कर रहे थे. इसी दौरान उनको सवाल पूछने के लिए आसन की ओर से नाम पुकारा गया. जब वे सावल पूछ ही रहे थे कि उसी दौरान माले, राजद और कांग्रेस के अधिसंख्य सदस्य सदन छोड़कर बाहर चले गये. इधर, विपक्ष के सदन से वाकआउट करने के बाद भी रामबली सिंह यादव पूरक प्रश्न पूछने के लिए सदन में डटे रहे. उस समय पूरे विपक्ष की अधिसंख्य सीट खाली देखकर संसदीय कार्य मंत्री ने विपक्ष पर चुटकी ली. सदन में रामबली बाबू पार्टी से अधिक क्षेत्र की जनता के प्रति सजग रहने के निर्णय पर सावल पूछने के लिए खडे रहे. धन्यवाद कि दूसरी पार्टी में रहते हुए भी 74 आंदोलन का सवाल उठाया विधानसभा अध्यक्ष नंद किशोर यादव ने डुमरांव के माले विधायक अजीत कुमार सिंह को धन्यवाद दिया. अध्यक्ष ने कहा कि आप दूसरी पार्टी में रहते हुए सन 1974 के आंदोलनकारियों का सवाल उठाया है. माले के विधायक अजीत कुमार सिंह ने सरकार से जयप्रकाश नारायण (जेपी) आंदोलन के दौरान भूमिगत रहे आंदोलनकारियों को प्रशस्तिपत्र, प्रतीकचिह्न और पेंशन देने की योजना को लेकर सरकार से प्रश्न पूछा था. उन्होंने बताया कि उस आंदोलन में कुल 74 ऐसे लोग हैं , जिनको जेल से छूटने के बाद उनका नाम जेल की रजिस्टर में दर्ज नहीं है. ऐसे लोगों को पेंशन दी जाये. जवाब में ऊर्जा मंत्री बिजेंद्र प्रसाद यादव ने कहा कि पेंशन योजना के लिए मानक बना है. मानक पूरा करने के बाद ही उस पर विचार किया जायेगा.
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