पटना.
बिहार में चुनाव कराने के लिए आयी दो हजार केंद्रीय बल की कंपनियां 22 नवंबर तक रहेंगी. इन कंपनियों को पटना सहित बिहार के तमाम जिलों में चुनाव को लेकर तैनात किया गया था. चुनावी परिणाम आने के बाद भी आपसी रंजिश को लेकर भिड़ंत होने की आशंका को लेकर केंद्रीय बलों की कंपनियों को फिलहाल रखा गया है. 22 नवंबर को तमाम जिलों की सुरक्षा की समीक्षा करने के बाद ही आगे तैनात करने या वापस भेजने का निर्णय लिया जायेगा. बिहार में चुनाव कराने के लिए सीएपीएफ,एसएसबी, सीआरपीएफ, सीआइएसएफ आदि केंद्रीय बलों की कंपनियों की तैनाती की गयी थी. इनके अलावा बीसैप, एसटीएफ, रैफ व बिहार पुलिस के जवानों की तैनाती की गयी थी. एक तरह से करीब 1.50 लाख पुलिस पदाधिकारियों व जवानों की तैनाती पूरे बिहार में सुरक्षा को लेकर की गयी थी. छोटी-मोटी घटनाओं को छोड़ कर चुनाव के दौरान कहीं भी बड़ी वारदात नहीं हुई. साथ ही पटना में भी हर बूथ पर केंद्रीय बलों की ही तैनाती थी. पटना जिले के भदौर में दुलारचंद्र यादव की हत्या के बाद केंद्रीय बल की कंपनिया ने मामले को संभाला था.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

