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GST लागू करने वाली सरकार प्रचंड बहुमत से जीत कर वापस आयी : सुशील मोदी

पटना : बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने जीएसटी के दो वर्ष पूरा होने पर ‘जीएसटी दिवस’ पर अधिवेशन भवन में आयोजित समारोह की अध्यक्षता करते हुए अपने संबोधन में कहा कि जीएसटी लागू करने वाले दुनिया के अधिकांश देशों में जहां महंगाई बढ़ी और वहां की सरकारें चुनाव हार गयीं. वहीं भारत में […]

पटना : बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने जीएसटी के दो वर्ष पूरा होने पर ‘जीएसटी दिवस’ पर अधिवेशन भवन में आयोजित समारोह की अध्यक्षता करते हुए अपने संबोधन में कहा कि जीएसटी लागू करने वाले दुनिया के अधिकांश देशों में जहां महंगाई बढ़ी और वहां की सरकारें चुनाव हार गयीं. वहीं भारत में महंगाई नियंत्रण में रहीं, अधिकांश चीजों पर टैक्स की दर में कमी आयी और जीएसटी लागू करने वाली सरकार दुबारा प्रचंड बहुमत से जीत कर सत्ता में वापस आयी.

उपमुख्यमंत्री ने कहा, बिहार में वित्तीय वर्ष 2018-19 में जीएसटी के अंतर्गत 3,95,889 करदाता निबंधित हैं जिनमें 85 प्रतिशत राजस्व मात्र 14,625 करदाताओं से प्राप्त हुआ जबकि 94,457 कम्पोजिशन डीलर से मात्र 58.29 करोड़ (0.37 फीसदी) राजस्व प्राप्त हुआ. सर्वाधिक कर संग्रह सिमेंट की बिक्री से 1323.43 करोड़, आयरन एंड स्टील से 795.60 करोड़, दवा से 519.82 करोड़ व टेलीफोन-मोबाइल की बिक्री से 382.65 करोड़ हुआ है.

सुशील मोदी ने कहा कि छोटे करदाताओं को बड़ी राहत दी गयी है. पहले जहां 20 लाख से कम टर्नओवर वालों को निबंधन कराने की जरूरत नहीं थी, वहीं अब 40 लाख टर्नओवर वाले निबंधन से मुक्त है. कम्पोजिशन स्कीम की सीमा अब 1 करोड़ की जगह 1.5 करोड़ सालाना टर्नओवर कर दिया गया है. वहीं सेवा प्रदाता (सर्विस प्रोवाइडर) के लिए पहली बार कम्पोजिशन स्कीम प्रारंभ किया गया है जहां 50 लाख टर्नओवर वालों को मात्र 6 प्रतिशत कर भुगतान करना होगा.

5 करोड़ तक के टर्नओवर वाले करदाताओं को त्रैमासिक विवरणी और मासिक कर भुगतान, 5 करोड़ से अधिक वालों को मासिक विवरणी और मासिक कर भुगतान करना होगा जबकि कम्पोजिशन स्कीम वालों को वर्ष में एक बार ही विवरणी दाखिल करना है. जिनका किसी माह में शून्य व्यापार है तो केवल एसएमएस के जरिए अपनी विवरणी दाखिल कर सकते हैं.

जीएसटी के तीसरे वर्ष में नयी सरल विवरणी 01 अक्तूबर से अनिवार्य रूप से लागू की जायेगी. करवंचना रोकने के लिए ई-इन्वाॅयसिंग के अलावा माल वाहक वाहनों पर ई-वे बिल के साथ आरएफआईडी टैग लगाना अनिवार्य किया जायेगा. समय पर विवरणी जमा नहीं करने वालों को एसएमएस से सूचना दी जायेगी. पूरे देश में वित्तीय वर्ष 2018-19 में 48,555 करोड़ की कर चोरी पकड़ी गयी जिनमें बिहार के हाजीपुर में पकड़े गए 214 करोड़ के करवंचना का मामला शामिल है.

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