पार्टी के पदाधिकारियों की सोमवार को त्रिपुरा की राजधानी अगरतल्ला में हुई पहली बैठक
पटना : पूर्वोत्तर काउंसिल के गठन के बाद जदयू ने तेजी से सांगठनिक विस्तार पर अमल शुरू कर दिया है. इसी के तहत पार्टी के पदाधिकारियों की सोमवार को पहली बैठक त्रिपुरा की राजधानी अगरतल्ला में हुई.
यहां पार्टी में भाजपा और कांग्रेस के नेता शामिल हो रहे हैं. नागालैंड में सरकार में शामिल होने के बाद पार्टी को इस क्षेत्र में अपने आधार को मजबूत बनाने की ऊर्जा मिल गयी है.
पार्टी के राष्ट्रीय सचिव संजय वर्मा व डाॅ संतोष सोमवार को अगरतल्ला पहुंचे. उन्होंने बताया कि लोगों में जदयू के प्रति पूरा उत्साह है. पार्टी भी संगठन को खड़ा करने के लिए जुझारू नेताओं और कार्यकर्ताओं को जोड़ने का काम कर रही है. उन्होंने बताया कि पार्टी में शामिल होने के लिए सिविल सर्वेंट के अलावा कई दलों जिनमें भाजपा, माकपा, कांग्रेस के कार्यकर्ता जदयू में शामिल हो रहे हैं.
असम में बीजेपी और कांग्रेस के लोग जदयू में शामिल होना चाहते हैं. इसी तरह अरुणाचल प्रदेश में कांग्रेस के कार्यकर्ता जदयू के साथ जुड़ रहे हैं. वर्मा ने बताया कि नागालैंड और मणिपुर में पार्टी का संगठन पहले से ही खड़ा है.
त्रिपुरा, असम और अरुणाचल प्रदेश पर विशेष ध्यान
संजय वर्मा ने बताया कि फिलहाल पार्टी का ध्यान त्रिपुरा, असम और अरुणाचल प्रदेश पर केंद्रीत है. इसके बाद मिजोरम और मेघालय में पार्टी अपना संगठन खड़ा करेगी.
उन्होंने बताया कि वह पूर्वाेत्तर के राज्यों में जनता दल (यू) के संगठन विस्तार के लिए आठ दिवसीय दौरे पर हैं. पहले दिन उनकी बैठक त्रिपुरा की राजधानी अगरतल्ला में संपन्न हुई है.
12 और 13 जून को वह त्रिपुरा में रहेंगे. 14 जून को गुवाहाटी में आसाम के पार्टी के महत्वपूर्ण साथियों से मिलने का प कार्यक्रम निर्धारित है. 15 जून को अरुणाचल प्रदेश की राजधानी इटानगर जायेंगे. वहां 16 एवं 17 जून को त्रिपुरा प्रदेश जनता दल (यू) के कार्यकर्ताओं द्वारा आयोजित बैठक में पार्टी को धारदार बनाने पर चर्चा की जायेगी.
उन्होंने बताया कि 21 जून को मेघालय की राजधानी शिलांग में पूर्व से आयोजित पार्टी की बैठक राज्य में असामान्य स्थिति के कारण तत्काल स्थगित कर दी गयी है. वहां की स्थिति सामान्य होते ही जदयू के संगठन विस्तार की पहल आरंभ की जायेगी.
