कुरसेला कुरसेला-बिहारीगंज लंबित रेल परियोजना के लिए राशि आवंटन से लोगाें में खुशी है. 27 वर्षों से अटके इस रेल परियोजना के पूरा होने को लेकर उम्मीदें बढ़ गयी हैं. रेल परियोजना से जुड़े मधेपुरा, पूर्णिया, कटिहार जिला से जुड़े क्षेत्र के लोगों को रेल सवारी का मौका मिलेगा. कुरसेला-बिहारीगंज रेल परियोजना के लिए राशि आवंटन करने की जानकारी रेल सूचना एवं प्रसारण तथा इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्वनी वैष्णव ने पूर्णिया सांसद राजेश रंजन के प्रश्न के जबाब में दी. रेल परियोजना में राशि के आवंटन होने से आने वाले समय में परियोजना का कार्य प्रारंभ हो सकेगा. मधेपुरा, पूर्णिया, कटिहार तीन जिलों के सुदूर क्षेत्रों को रेल सुविधा से जोड़ने की कुरसेला-बिहारीगंज महत्वाकांक्षी रेल परियोजना खटाई में पड़ी हुई थी. चार दशकों से इस रेल परियोजना का कार्य अधर में पड़े रहने के बाद भी जनमानस की आस केन्द्र के मोदी सरकार पर टिकी रहती थी. चार दशकों से खटाई में पड़ी है परियोजना जरते चार दशकों के अधिक वक्त से यह रेल परियोजना चार कदम चलकर ठहर कर रुकती रही. कोसी के पिछड़े क्षेत्र को रेल सुविधा से जोड़ने का सपना तत्कालीन रेल मंत्री ललित नारायण मिश्र ने संजोया था. उनके निधन के पश्चात यह रेल परियोजना विभाग के फाइलों में गुम होकर रह गया. सालों फाइलों में गुम रहने के बाद यह रेल परियोजना तत्कालीन रेल मंत्री राम विलास पासवान के नजर में आया. परियोजना के महत्वों को दखते हुए तत्कालीन रेल मंत्री पासवान ने इस पर सुधि लेकर कागजी प्रक्रिया के कार्यो को आगे बढ़ाते हुए वर्ष 1998 में कुरसेला- बिहारगंज रेल परियोजना के सर्वे कार्य का शिलान्यास किया. पासवान के रेल मंत्री से हटने के बाद एक बार फिर इस रेल परियोजना का कार्य अधर में अटक कर रह गया. योजना कार्य के शिथिल पड़े रहने से बिहारीगंज से कुरसेला के जनमानस में असंतोष पनपने लगा. उसके बाद तत्कालीन रेल मंत्री लालू प्रसाद यादव ने परियोजना को वजट में लाकर रेल निर्माण कार्य का पूर्णिया के रुपौली में 07 सितंबर 2009 को शिलान्यास किया. इसके लिये कुरसेला बिहारीगंज के बीच प्रस्तावित रेल स्टेशन व समपार ढाला के स्थानों पर लोहे के बोर्ड लगाये गये. जनमानस के सपने साकार रूप लेने की उम्मीद बढ़ गयी थी. रेल लाइन बिछाने और स्टेशनों के निर्माण के लिए भुमि अधिग्रहण की प्रक्रिया प्रारम्भ होकर कार्य आगे बढ़ती. इसी बीच केन्द्र की सरकार बदलने से परियोजना का कार्य जहां का तहां ठहर कर रह गया. नये पुराने सरकार के पचरे में इस महत्वाकांक्षी रेल परियोजना का काम पिछले कई वर्षो से रूका रहा है. प्रस्तावित रेल परियोजना का स्वरूप जानकारी के अनुसार कुरसेला से बिहारीगंज प्रस्तावित रेल परियोजना की लम्बाई 57.35 किमी है. रेल स्टेशनों की संख्या 09 व छोटे बड़े पुल पुलियों की संख्या 74 और समपार फाटकों की संख्या 48 थी. बिहारीगंज- कुरसेला का यह प्रस्तावित रेल परियोजना को वाया रूपौली- धमदाहा होकर गुजरना है. जिससे कटिहार, पुर्णिया, मधेपुरा के सुदूर क्षेत्र के लोगों को रेल सवारी का सुविधा प्राप्त होगी.
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