जहानाबाद. जिले में बड़े पैमाने पर अवैध बालू खनन और ओवरलोडेड वाहनों का परिचालन बेरोक-टोक हो रहा है. इस धंधे में लगे बालू और पासिंग माफिया करोड़ों का वारा-न्यारा कर रहे हैं. जबकि सरकार को करोड़ों रुपए राजस्व की क्षति हो रही है. इसका प्रत्यक्ष प्रमाण जिले के विभिन्न इलाकों में पकड़े जाने वाले वाहन हैं जो या तो बगैर चालान के ही बालू ढोते पकड़े गये हैं या फिर चालान के बावजूद ऐसे वाहनों पर ओवरलोडिंग की गयी है. वैसे भी जिले की विभिन्न नदियों में रात के सन्नाटे में जोर-शोर से बगैर बंदोबस्त वाले इलाके से आवाज खनन प्रतिदिन जारी रहता है. कभी-कभी तो आवाज उत्खनन का यह खेल दिन के उजाले में भी किया जाता है. पहले अवैध उत्खनन और ओवरलोडिंग ज्यादातर बड़े वाहनों में किया जाता था किंतु जब से सरकार ने इन बड़े वाहनों पर अवैध खनन और बगैर चालान का बालू या गिट्टी पकड़े जाने पर 8 से 11 लाख रुपये का जुर्माना लगाया है, तब से ऐसे वाहनों पर अवैध उत्खनन के बालू और गिट्टी की लोडिंग में कमी आयी है. हालांकि अभी भी कुछ बड़े वाहन इस खेल में शामिल हैं. मगर अब ज्यादातर अवेद्य खनन का बालू छोटे वाहन और ट्रैक्टर पर ढोए जा रहे हैं. जिले की विभिन्न नदियों में जहां नदियों का सरकारी स्तर पर बाल उत्थान के लिए बंदोबस्त की नहीं की गयी है, वहां बड़ी संख्या में मजदूर के द्वारा बालू का खनन कर उसे ट्रैक्टर पर लड़ा जाता है और फिर रात के अंधेरे में ही सुबह होने से पहले गंतव्य स्थान पर पहुंचा दिया जाता है. एक बार जब बालू ग्राहक के पास गिरा दिया जाता है तो फिर उसे पूछने वाला कोई नहीं होता है, क्योंकि बालू के खरीदार आम ग्राहक भी आज तक कभी किसी वाहन चालक से बालू का चलन नहीं मांगते हैं और न ही वाहन चालक ऐसे ग्राहकों को बालू का चालान देते हैं. मकान का निर्माण करने वाले ऐसे ग्राहकों को इन सबों से ना तो मतलब होता है और न ही उनकी जानकारी उन्हें है. नदियों से अवैध उत्खनन कर बालू ढोने वाले वाहन रात में 12 बजे के बाद बालू और गिट्टी लोड कर बेरोक-टोक जहानाबाद शहर सहित जिले के विभिन्न मार्गों से होकर गुजरते हैं. हालांकि जिले के विभिन्न इलाकों से गुजरने के दौरान बालू और गिट्टी लदे इन ओवरलोडेड वाहनों को विभिन्न थाना क्षेत्र से होकर गुजरना पड़ता है. इसके बावजूद ऐसी ओवरलोड गाड़ियां बेरोक-टोक प्रतिदिन गुजर जाती हैं, किंतु ये अवैध बालू धोने वाली ओवरलोडेड गाड़ियां मुख्य शहर से पुलिस प्रशासन की आंखों में धूल झोंक कर प्रतिदिन जिले से पार कर जाती हैं. पासिंग माफिया कराते हैं जिले की सीमा पार : जिले में बालू और गिट्टी लदे अवैध उत्खनन और ओवरलोड गाड़ियों की पासिंग कर जिले की सीमा पार करायी जाती है. प्रत्येक गाड़ी से जिले की सीमा में प्रवेश करने के पूर्व ही एक निश्चित राशि ली जाती है. इसके लिए लाइन होटल, पान की गुमटी मुफीद जगह होती है जिसके बाद उनके चालक को जिले के प्रत्येक पुलिस और प्रशासनिक पदाधिकारी के मूवमेंट की जानकारी के अनुसार गाड़ियों को जिले से पार कराया जाता है. हर प्रमुख जगह पर रहता है माफियाओं का स्पाइ तंत्र : बालू और गिट्टी लदे ओवरलोडेड वाहनों को जिले से पास कराने के लिए पासिंग माफियाओं का एक पूरा तंत्र होता है, जो जिले के प्रमुख स्थानों पर स्पाई का काम करता है. मोबाइल और बाइक से लैस यह स्पाई तंत्र हर पदाधिकारी के ऑफिस और आवास के निकट मंडराते रहते हैं. इसके अलावा और पुलिस थानों के इर्द-गिर्द भी छिपे रहते हैं. पदाधिकारियों के मूवमेंट की पल-पल की जानकारी लेकर ओवरलोडेड वाहनों को पास कराते हैं.
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