Bihar Homeguard Bharti: बिहार के समस्तीपुर में होमगार्ड की बहाली प्रक्रिया के दौरान बड़े घोटाले का खुलासा हुआ है. जिसमें चार से पांच लाख रुपये में परीक्षा पास कराने का खेल सामने आया है. खास बात यह है कि इस पूरे रैकेट को एक संगठित नेटवर्क के तहत बिचौलियों और कुछ अधिकारियों की मिलीभगत से अंजाम दिया जा रहा था. फिजिकल टेस्ट में भाग लेने वाले अभ्यर्थियों को हाथ में एक विशेष रंग का रिबन पहनाया जाता था, जो मैदान में तैनात अधिकारियों के लिए पहचान का संकेत बनता था.
नोडल अधिकारियों द्वारा सौंपी गई शिकायत
इस घोटाले की परतें तब खुलीं जब सीनियर नोडल पदाधिकारी सह ADM (आपदा) राजेश कुमार सिंह को फिजिकल टेस्ट के दौरान मैदान पर ड्यूटी में तैनात शारीरिक शिक्षकों और नोडल अधिकारियों की ओर से एक लिखित शिकायत सौंपी गई. उन्होंने 31 मई को समस्तीपुर के जिलाधिकारी रोशन कुशवाहा को एक गोपनीय रिपोर्ट सौंपकर पूरे खेल का पर्दाफाश किया.
जिला कमांडेंट पर हुई ये बड़ी कार्रवाई
राजेश सिंह की रिपोर्ट में होमगार्ड के जिला कमांडेंट मोहम्मद एहतेशाम अली की संदिग्ध भूमिका का भी जिक्र किया गया, जिसके बाद डीएम ने तत्काल प्रभाव से उन्हें बहाली प्रक्रिया से हटा दिया. उनकी जगह जिला कमांडेंट ऑफिस के इंस्पेक्टर संजीव रंजन प्रसाद को जिम्मेदारी सौंपी गई है. साथ ही, इस मामले की जांच के लिए एक विशेष कमेटी बनाई गई है, जिसकी कमान खुद ADM राजेश सिंह के हाथों में है.
750 पदों के लिए आए थे 25,369 आवेदन
बता दें कि समस्तीपुर में कुल 750 पदों के लिए 25,369 आवेदन आए थे, जिनमें 19,290 पुरुष, 6,078 महिलाएं और एक ट्रांसजेंडर शामिल हैं. बहाली की प्रक्रिया इन दिनों दुधपुरा पुलिस लाइन मैदान में चल रही है. फिलहाल, सीसीटीवी फुटेज के आधार पर 15 ऐसे अभ्यर्थियों की पहचान की गई है, जिन्होंने फिजिकल टेस्ट में भाग लेने के दौरान हाथ में खास रंग का रिबन पहना हुआ था. प्रशासन अब इन अभ्यर्थियों पर भी कार्रवाई की तैयारी कर रहा है.
Also Read: दलित बच्ची के इंसाफ की लड़ाई में छोड़ी BJP, असित नाथ तिवारी हुए कांग्रेस में शामिल

