आरा : वीर कुंवर सिंह विश्वविद्यालय में मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना की राशि पर अब फिर से तलवार लटकने लगी है. विवि प्रशासन व कॉलेज प्रशासन की लापरवाही के कारण हजारों छात्राएं इस राशि से वंचित होती हुई नजर आ रही है.
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मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना से हजारों छात्राएं हुईं वंचित
आरा : वीर कुंवर सिंह विश्वविद्यालय में मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना की राशि पर अब फिर से तलवार लटकने लगी है. विवि प्रशासन व कॉलेज प्रशासन की लापरवाही के कारण हजारों छात्राएं इस राशि से वंचित होती हुई नजर आ रही है. कुलपति प्रो देवी प्रसाद तिवारी से पूछे जाने पर उन्होंने इस पर चुप्पी […]
कुलपति प्रो देवी प्रसाद तिवारी से पूछे जाने पर उन्होंने इस पर चुप्पी साध ली और इसके जवाब के लिए सीसीडीसी डॉ नीरज कुमार सिन्हा को मोबाइल थमाना उचित समझा. सीडीसीसी ने दोषी कॉलेजों पर स्पष्टीकरण देने की बात कहकर कनी कटाते हुए नजर आये.
बतादें कि विवि के अंतर्गत 33 ऐसे अंगीभूत व संबंध कॉलेज हैं जिन्होंने इस प्रोत्साहन राशि के लिए विवि में कोई आवेदन नहीं जमा कराये हैं. वहीं 13 ऐसे कॉलेज हैं, जिनके दिये हुए आवेदनों को राजभवन व उच्च शिक्षा विभाग के द्वारा आधी-अधूरी सूचना मुहैया कराने के कारण रद्द कर दिया गया है.
नोडल पदाधिकारी डॉ कृष्ण कुमार ने बताया कि मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना के लिए कई बार कॉलेजों को पत्राचार किया गया लेकिन उन कॉलेजों के द्वारा इस पर अभी तक कोई संज्ञान नहीं लिया गया. उन्होंने बताया कि राजभवन व उच्च शिक्षा विभाग से आवेदन रद्द करने की मुख्य वजह है कि कॉलेजों द्वारा अपने-अपने लेटर पैड पर इसी तरह से लिखित आवेदन दे दिया गया है.
जबकि उच्च शिक्षा विभाग से सख्त आदेश दिया गया था कि कॉलेज अपने यहां की सारी जानकारियां कंप्यूटरजाइड टाइपिंग कराकर भेजेंगे. जिन कॉलेज के द्वारा ऐसा किया गया है. उन कॉलेजों का आवेदन स्वीकार किया गया है. बाकी कॉलेजों का आवेदन रद्द करते हुए वापस भेज दिया गया है. कई आवेदनों पर परीक्षाफल का उत्तीर्ण होने की तिथि अंकित नहीं होने की वजह से भी उनके आवेदन को रद्द कर दिया गया.
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