भागलपुर के मुफस्सिल क्षेत्र के बाढ़पीड़ितों के लिए मिल रही सुविधाओं को देखकर शहरी बाढ़पीड़ितों के बीच आक्रोश बढ़ता जा रहा है. अब तक उनका हाल जानने तक न प्रशासनिक पदाधिकारी पहुंचे और न ही स्थानीय जनप्रतिनिधि. ऐसे में बाढ़पीड़ितों ने आगामी विधानसभा चुनाव में वोट बहिष्कार करने की चेतावनी दी है. साथ ही, कहा है कि किसी दल या कोई नेता इस क्षेत्र में पहुंचेंगे, तो उन्हें यहां के लोगों का विरोध झेलना पड़ेगा.
दीपनगर झुग्गी बस्ती में 100 से अधिक परिवारों का जलमग्न हो गया था घर
-इधर, वार्ड 10 अंतर्गत साकम के कन्हैया मंडल ने बताया कि उनके घर में भी एक सप्ताह तक पानी भरा रहा. वार्ड 18 में कसबा गोलाघाट, सखीचंद घाट आदि मोहल्ले में बाढ़ से 200 से अधिक परिवार बाढ़ से प्रभावित हैं. कसबा गोलाघाट के मनोज राय ने बताया कि उन्हें दूसरे घरों की छतों पर शरण लेनी पड़ी है. उनलोगों को लिए कोई शिविर नहीं बनाया गया है. मेघु राम ने बताया कि भोजन, पीने का पानी का अभाव हो गया है. विजय चौधरी ने बताया कि घर में पानी घुस जाने से शौचालय की भी दिक्कत है. विनय सिंह, पूरण पासवान, योगेंद्र दास, राम रजक, रामाशीष सिंह, मोहन साह, मनीष सिंह, जगदीश यादव, मीना देवी, नेपाली मंडल, निशाकर मिश्रा, पवन कुशवाहा ने बताया कि उनकी स्थिति भी दियारा क्षेत्र के बाढ़पीड़ितों से कम खराब नहीं है, फिर भी कोई सुविधा नहीं मिली.
बुनकर मो इमदाद व मो शऊर ने बताया कि उनके क्षेत्र में 100 लूम खराब हो गये. इससे लाखों की क्षति हुई. बुनकर बहुल क्षेत्र मदनीनगर व आसपास क्षेत्र में बुनकर परेशान हैं. कोई देखने तक नहीं आया.————–
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