= पुलिस मुख्यालय से मांगी गयी रिपोर्ट के बाद सख्त हुआ पुलिस प्रशासन= सभी थानों में फाइलें खंगालने और डाटा संकलन का काम तेज़ी से शुरू
संवाददाता, भागलपुर
राज्य में लंबे समय से लंबित फॉरेंसिक साइंस लैबोरेट्री (एफएसएल) की रिपोर्ट को लेकर पुलिस मुख्यालय ने कड़ा रुख अपनाया है. इसी क्रम में भागलपुर नगर पुलिस अधीक्षक ने पूरे जिले के अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी, सर्किल इंस्पेक्टर और थानाध्यक्षों को महज सात घंटे के अंदर लंबित एफएसएल रिपोर्ट का पूरा डाटा उपलब्ध कराने का आदेश जारी किया है. नगर पुलिस अधीक्षक शुभांक मिश्रा की ओर से जारी पत्र में यह भी निर्देश दिया गया है कि सभी थाने दो घंटे के अंदर वरीय अधिकारियों को आवश्यक सूचना हर हाल में उपलब्ध कराएं, ताकि पुलिस मुख्यालय को समय पर रिपोर्ट भेजी जा सके. इस आदेश के पीछे मुख्य कारण यह है कि राज्यभर में बड़ी संख्या में एफएसएल रिपोर्ट वर्षों से लंबित पड़ी हैं, जिसके कारण कई गंभीर मामलों की जांच और आरोपपत्र दाखिल करने की प्रक्रिया प्रभावित हो रही है.घटना का संक्षिप्त विवरण, सैंपल कब और कहां से उठाया गया देना अनिवार्य
मालूम हो कि पुलिस मुख्यालय ने साफ किया है कि केवल लंबित रिपोर्ट की संख्या ही नहीं, बल्कि हर मामले का पूरा ब्यौरा जुटाया जाए. इसमें घटना का संक्षिप्त विवरण, सैंपल कब और कहां से उठाया गया, किस लैब में भेजा गया, रिपोर्ट कब अपेक्षित थी, और देरी का कारण भी शामिल हो. आदेश के बाद जिला पुलिस महकमे में हलचल मच गयी है. सभी थानों में संबंधित मामलों की फाइलें खंगालने और डाटा संकलन का काम तेज़ी से शुरू हो गया है. सूत्रों के अनुसार, कई मामलों में सैंपल भेजने के बाद रिपोर्ट आने में छह महीने से लेकर दो साल तक की देरी हो चुकी है. यह देरी न सिर्फ़ अभियुक्तों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल करने में अड़चन बन रही है, बल्कि पीड़ित पक्ष को भी न्याय मिलने में बाधा पहुंचा रही है.आइजी स्तर से चल रही है लंबित मामलों की समीक्षा
नगर पुलिस अधीक्षक शुभांक मिश्रा ने बताया कि आईजी स्तर से इन लंबित मामलों की समीक्षा चल रही है. सभी लंबित केस सूचीबद्ध किए जा रहे हैं. रिपोर्ट आने में देरी के कारणों का पता लगाया जाएगा और कारण जान कर इसका निदान निकाला जाएगा. कई केस में एफएसएल रिपोर्ट लंबित रहने के कारण अनुसंधान की गति सुस्त हो गयी है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

