घोघा थाना क्षेत्र के ओलापुर गांव की घटना
जिले के घोघा थाना क्षेत्र के ओलापुर गांव में मंगलवार को देर शाम जमीन विवाद में सगे भाइयों के बीच हुई मारपीट और चाकूबाजी की घटना में दो भाइयों नीरजकांत पाठक(45) और हरिद्वारिकानाथ पाठक उर्फ गोडेस की मौत इलाज के क्रम में हो गयी है. जबकि दोनों की हत्या मामले में आरोपित सगे भाई अवधबिहारी पाठक और उसकी पत्नी नीलम देवी भी घायल है. दोनों का इलाज पुलिस की अभिरक्षा में जेएलएनएमसीएच के पेइंग वार्ड में चल रहा है. बुधवार को घोघा पुलिस ने दोनों सगे भाइयों के शव का पोस्टमार्टम करवा कर परिजनों को सुुपुर्द कर दिया है. मामले में पुलिस ने दोनों पक्षों से घटना के संदर्भ में बयान लिया है. बहन किरण तिवारी ने अवधबिहारी पाठक, उसकी पत्नी नीलम देवी और नीलम देवी की मां के विरुद्ध चाकूबाजी कर दो भाई की हत्या करने का अरोप लगाया है. जबकि दूसरे पक्ष से अवध बिहारी पाठक ने किरण तिवारी व दोनों मृत भाइयों पर मारपीट व जानलेवा हमला करने का आरोप लगाया है. बुधवार को एफएसएल की टीम ने घटना स्थल पर पहुंच कर विभिन्न तरह के साक्ष्यों को एकत्रित किया है. इस तरह हुई घटनाग्रामीणों ने बताया कि ये कुल सात भाई हैं. परिवार में सब कुछ ठीक चल रहा था. लेकिन लगभग 10 वर्षों से जब भाइयों में बंटवारा करने की बात आयी तो सभी भाई एक मत नहीं हो पा रहे थे. हालांकि मौखिक रूप से अनमने तरीके से बंटवारा हो भी गया था. लेकिन सभी भाई सहमत नहीं थे. यही कारण था कि अक्सर भाइयों के बीच विवाद की स्थिति उत्पन्न होने लगी. सात भाइयों में सबसे बड़े भाई प्रकाश पाठक ने बताया कि पिछले दिनों अवध बिहारी ने 13 से 14 कट्ठे जमीन की प्लाटिंग की थी. जमीन का कोई रास्ता न था. अवध बिहारी चाहता था कि नीरजकांत पाठक के हिस्से की जमीन से उक्त जमीन का रास्ता मिल जाये. इससे जमीन का भाव बाढ़ जाता और वह ज्यादा मुनाफा कमा सकता. नीरजकांत तैयार नहीं थे. बहन किरण तिवारी विगत छह वर्षों से ओलापुर गांव में ही रह रही है. घटना के स्थल पर मौजूद किरण तिवारी ने बताया कि अक्सर जमीन के कागजात देने लेने और जमीन पर हक जताने को लेकर विवाद होता था.क्या हुआ था घटना के समयकिरण तिवारी ने बताया कि मंगलवार की शाम अवधबिहारी ने वहां आ कर उसके बेटे पर थूक देने का आरोप नीरज पर लगाया और दोनों ने बहस किया. किरण ने बताया कि कुछ देर बाद वह छत पर गयी थी. नीचे से अवध की पत्नी नीलम उसके साथ बहस कर रही थी. बहस में अवध भी शरीक हो गया. वह एकाएक आक्रोशित हो कर उसे ईंट लेकर छत पर मारने आया. इस बीच नीरजकांत उसे बचाने आया. दोनों के बीच धक्का मुक्की चल रही थी. इसी बीच अवध की पत्नी चाकू ले कर आ गयी. अवध ने उससे चाकू ले लिया और पांच से छह बार नीरज के ऊपर प्रहार किया. शरीर पर कई जगहों पर चाकू से प्रहार करने पर नीरज वहीं पर गिर गया. इस बीच वह हल्ला करने लगी. अवध छत से नीचे उतरने लगा. यह देख छोटा भाई हरिद्वारिका प्रसाद पाठक उर्फ गोडेस ने अवध को सीढ़ी पर ही रोक दिया और नीरज को चाकू मारे जाने का विरोध किया. अवध पर खून सवार था. उसने गोडेस पर भी चाकू से प्रहार किया. जिसके बाद वह भी वहीं पर गिर पड़ा. किरण का कहना है कि अवध के साथ दोनों भाई ने मारपीट नहीं की थी. अवध खुद गिर कर चोटिल हुआ था. घटना के बाद ग्रामीणों की सूचना पर 112 नंबर की पुलिस आयी. गंभीर रूप से घायल नीरज और हरिद्वारका को कहलगांव अनुमंडल अस्पताल पहुंचाया. देर रात कहलगांव अनुमंडल अस्पताल में दोनों की स्थिति गंभीर बताते हुए जेएलएनएमसीएच रेफर किया गया. वहां इलाज के क्रम में बुधवार की सुबह दोनों की मृत्यु हो गयी.
थानाध्यक्ष ने कहाघोघा थानाध्यक्ष अजीत कुमार ने बताया की शव का पोस्टमार्टम करा कर शव परिजनों को सौंप दिया गया है. दोनो पक्षों की ओर फर्द बयान पर मामला दर्ज किया गया है. आगे की कार्रवाई की जा रही है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

