अररिया. जिला परिषद सदस्य शब्बीर आलम ने पदाधिकारी की कार्यशैली व व्यवहार को लेकर अपनी नाराजगी जाहिर की. क्षेत्र संख्या 25 के जिला पार्षद मास्टर शब्बीर आलम ने कहा कि जिला परिषद सदस्यों के साथ संबंधित पदाधिकारी का व्यवहार सहयोगात्मक नहीं है. उन्होंने पत्रकारों से बातचीत के दौरान कहा कि पलासी प्रखंड के सुखसेना पंचायत में जो हिंदू बाहुल्य पंचायत है, वहां कब्रिस्तान में सड़क निर्माण व बाउंड्री का कार्य जिला पार्षद द्वारा कराने को लेकर लगातार प्रयास किया जा रहा है. जिला परिषद द्वारा चहारदीवारी निर्माण की स्वीकृति भी प्राप्त है, लेकिन जब काम करना शुरू करने गये तो वहां के एक स्थानीय शिक्षक शैलेश कुमार ने काम को बाधित कर पहले कमीशन देने की मांग की. जिला पार्षद सब्बीर आलम ने इसको लेकर लगातार डीडीसी सह मुख्य कार्यपालक पदाधिकारी जिला परिषद को आवेदन देकर इस मामले की जानकारी दी व उनसे मिलकर तमाम समस्याओं से अवगत करने का लगता प्रयास कर रहे है, लेकिन डीडीसी एक सम्मानित जिला पार्षद होने के बावजूद उनसे बात करना उचित नहीं नही समझती है. शब्बीर आलम ने डीडीसी पर सीधे आरोप लगाया कि डीडीसी तीन महत्वपूर्ण पदों पर विराजमान है, वें जिला परिषद की मुख्य कार्यपालक पदाधिकारी व मनरेगा की आयुक्त भी हैं. ऐसे में उनके पास समय का अभाव रहता हैं. इससे जिला परिषद का विकास कार्य बाधित होता है. शब्बीर कुमार ने कहा कि डीडीसी मैडम का व्यवहार हमलोग के प्रति सहयोगात्मक नहीं है.
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