प्रभात खबर के माध्यम से पता चला कि वायु प्रदूषण हमारे राज्य की एक गंभीर समस्या है, जिसे लेकर राज्य सरकार और जनता सभी को गंभीर हो जाना चाहिए. संपूर्ण भारत में वनों के मामले में झारखंड एक अग्रणी राज्य है. अब स्थिति इसके विपरीत है. कोयला से संबंधित प्रदूषण भी एक गंभीर समस्या है. खदानों और पावर प्लांटों के विभिन्न प्रक्रम भी वायु प्रदूषण का कारण हैं.
जहां जरूरत है जंगलों को बचाने और कारखानों को मापदंड पर लाने की, वहीं इसके उलट जल संसाधन विभाग द्वारा झारखंड के पलामू टाइगर रिजर्व में मंडल डैम प्रोजेक्ट के लिए लाखों पेड़ काटने की तैयारी हो रही है. यह पर्यावरण और वन्य जीवों के लिए एक घातक है. प्रयास तो यह होना चाहिए कि पेड़ काट रहे हैं, तो उसका दोगुना पेड़ लगाया भी जाए.