अंजनी कुमार सिंह, दिल्ली : देश में लोकसभा चुनाव के चार चरण पूरे हो चुके है. तीन चरण के चुनाव बचे हैं और चार जून को देश में किसकी सरकार बनेगी यह तय हो जायेगा. चुनाव के बीच ही 18वीं लोकसभा को लेकर संसद में तैयारियां शुरू हो गयी है. नये सांसदों को सुविधा मुहैया कराने के लिए अधिकारियों की विशेष टीम का गठन किया गया है और सांसदों के लिए विशेष काउंटर बनाए गए हैं.
नये सांसदों के दिल्ली आने पर विशेष काउंटर पर लाने के लिए एयरपोर्ट, रेलवे स्टेशन और प्रमुख जगहों पर विशेष टीम तैयार रहेगी और सांसदों को पंजीकरण के लिए काउंटर पर लाने का काम करेगी. इस काम के लिए लोकसभा सचिवालय के अधिकारियों को तैनात किया जायेगा. जो सांसद पहली बार चुनकर आयेंगे, उसपर विशेष ध्यान रखा जायेगा, जिससे उन्हें किसी भी तरह की असुविधा का सामना नहीं करना पड़े. नये सांसदों को पहले दिन काउंटर पर स्मार्ट कार्ड जारी किया जायेगा. साथ ही उनके ठहरने की उचित व्यवस्था भी होगी.
नये सांसदों को सुविधा मुहैया कराने के लिए बनाये जा रहे काउंटर
नये सांसदों के दिल्ली आने पर किसी तरह की असुविधा न हो इसके लिए एयरपोर्ट, रेलवे स्टेशन और अन्य प्रमुख जगहों पर सचिवालय की ओर से काउंटर बनाया जायेगा. गैर हिंदी भाषी क्षेत्र के सांसदों के लिये उस भाषा के जानकार अधिकारियों को तैनात किया जायेगा.
नये सांसदों को आवास के साथ फोन कनेक्शन, सांसद के वाहन के लिए फास्टैग, संसद भवन आने के लिए स्मार्ट कार्ड, सांसदों का बैंक खाता खोलने, डिप्लोमेटिक पासपोर्ट के लिए आवेदन, स्वास्थ्य सुविधा और अन्य जरूरी सेवा काउंटर पर उपलब्ध होगी. पार्लियामेंट के एनेक्सी या संविधान सदन में इस बाबत एक बड़ा काउंटर बनाया जायेगा. जहां सभी तरह की आधुनिक सुविधा उपलब्ध है. नये सांसदों के लिए दिल्ली के विभिन्न राज्यों के भवन सहित सरकारी गेस्ट हाऊस जैसे वेस्टर्न कोर्ट आदि में कमरे बुक कराने की व्यवस्था की जा रही है
अब अशोका होटल में नहीं रुकेंगे नये सांसद
पिछले लोकसभा चुनाव के बाद कई सांसदों के लिए अशोका होटल में कमरे बुक करवाये गये थे. लेकिन अब सरकार खर्च को कम करने के लिए अशोका होटल में सांसदों को नहीं ठहरायेगी. सांसदों के लिए कई नये आवास का निर्माण हुआ है और बहुत हद तक आवास की समस्या कम हुई है. लेकिन अगर आवास की दिक्कत होती है तो सांसदों को राज्यों के भवन में ठहराने का निर्णय लिया गया है. साथ ही वेस्टर्न कोर्ट जैसे सरकारी गेस्ट हाउस को भी बुक कराया जायेगा, जिसमें सांसद आराम से रह सकें. पांच सितारा होटल अशोका में नहीं ठहराने का निर्णय इसलिये भी लिया गया है कि कई बार सांसद एक सप्ताह के लिये रूकते हैं, लेकिन आवास की सुविधा उपलब्ध हो जाने के बाद भी वह वहीं जमे रहते हैं, जिससे सरकारी खजाने पर वेबजह का बोझ पड़ता है.
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