नयी दिल्ली : दिल्ली विश्वविद्यालय के पूर्व प्रोफेसर एसएआर गिलानी की जमानतयाचिका पटियाला हाउस कोर्ट ने खारिज कर दी. पिछली सुनवाई में उन्हें 14 दिनों की न्यायिक हिरासत पर भेज दिया गया था. गिलानी के वकील ने कई तथ्य पेश करते हुए जमानत की अरजी दी थी लेकिन पटियाला हाउस कोर्ट ने उनकी जमानत याचिका खारिज कर दी. उनके वकील ने अपनी बात रखते हुए पहले ही कहा था कि गिलानी देश विरोधी नारों के साथ नहीं थे और ना ही इसे लेकर कोई सबूत है.
एफआइआर में भी इन सबूतों का जिक्र नहीं है. गिलानी पर आरोप है कि उन्होंने 10 फरवरी को प्रेस क्लब में जिस कार्यक्रम का आयोजन किया था, उसमें आतंकी अफजल गुरु के समर्थन में देश विरोधी नारे लगाए गए थे. अबतक उन्होंने पुलिस के साथ कार्रवाई में सहयोग दिया है इसिलए उन्हें जमानत मिलनी चाहिए.
दूसरी तरफ विपक्ष के वकील ने भी अपना पक्ष मजबूती से रखते हुए साफ कर दिया था कि वह लगातार भारत सरकार के खिलाफ होने वाले कृत्यों में संलिप्त रहे हैं. उन्होंने अफजल गुरु के समर्थन में एक बोर्ड लगाया था. दिल्ली विश्वविद्यालय के पूर्व लेक्चरर एसएआर गिलानी को यहां आयोजित उस समारोह के संबंध में देशद्रोह और अन्य आरोपों के तहत गिरफ्तार किया गया है जिसमें भारत विरोधी नारे लगाए गए थे. पुलिस उपायुक्त (नई दिल्ली) जतिन नरवाल ने कहा, ‘‘ गिलानी को देर रात करीब तीन बजे भारतीय दंड संहिता की धाराओं 124 ए (देशद्रोह 120 बी) आपराधिक षडयंत्र : और 149 (गैरकानूनी रूप से एकत्र होना) के तहत संसद मार्ग पुलिस थाने में गिरफ्तार किया गया है.
