Vidur Niti: महाभारत के महान ज्ञानी महात्मा विदुर जो हस्तिनापुर के महाराजा धृतराष्ट्र के सलाहकार और मंत्री थे.उन्होंने हमेशा धर्म और न्याय का पक्ष लिया. एक बार जब महाराजा धृतराष्ट्र ने उनसे पूछा कि एक व्यक्ति की असली पहचान कब होती है तो महात्मा विदुर ने बहुत ही गहरे और सटीक शब्दों में इसका उत्तर दिया था.महात्मा विदुर के अनुसार व्यक्ति की असली पहचान अच्छे समय में नहीं बल्कि संकट के समय होती है.
- संकट में छिपी है व्यक्ति की असली पहचान : महात्मा विदुर के अनुसार अच्छे समय में व्यक्ति की पहचान नहीं होती है. उसकी असली कुशलता और गुण संकट के समय ही उजागर होते हैं.
- सच्चे हितैषी का मूल्यांकन संकट में करें : जो लोग संकट में आपके साथ खड़े रहते हैं वही असली दोस्त होते हैं.स्वार्थी लोग अच्छे समय में चापलूसी करते हैं लेकिन संकट में छोड़ देते हैं.
- संकट के समय धैर्य और आत्मविश्वास बनाए रखें : महात्मा विदुर कहते हैं कि संकट के समय व्यक्ति को अपना धैर्य खोने नहीं देना चाहिए. संकट से जूझने वाले ही असली विजेता होते हैं. संकट के समय में अपनों की पहचान करना काफी मुश्किल लगता है.
- विपरीत परिस्थितियों में संघर्ष से मिलती है जीत : जो लोग संकट के समय संघर्ष करते हुए अपना आत्मविश्वास बनाए रखते हैं वही सफलता प्राप्त करते हैं. इसलिए संकट के समय आत्मविश्वास बनाए रखना और धैर्य रखना बेहद जरूरी है. जो लोग विपरीत परिस्थितियों में भी संघर्ष करते हैं और अपना आत्मविश्वास बनाए रखते हैं वही सच्चे विजेता होते हैं.
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