मुंबई : अभिनेता-नेता कमल हासन ने कहा है कि वह सही अवसर पर राजनीति में आये, लेकिन इससे वह अवसरवादी नहीं हो जाते. उनका मिशन देश की मौजूदा विविधता को बनाये रखना है.
इस साल फरवरी में अपनी राजनीतिक पार्टी मक्कल नीधि मय्यम का गठन करने वाले हासन राजनीति को अपने सफर का अगला पड़ाव नहीं बल्कि अपने अस्तित्व के लिए जरूरी मानते हैं.
इस बारे में वह 2000 से ही विचार कर रहे थे जब उन्होंने फिल्म ‘हे राम’ बनायी थी. अपनी पार्टी की संबद्धता को लेकर बेहद सतर्क रहे. अभिनेता-नेता ने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी और आम आदमी पार्टी के प्रमुख अरविंद केजरीवाल से मुलाकात की है.
क्या वह उनके साथ गठबंधन करना चाहते हैं, इस पर उन्होंने मंजे हुए नेता की तरह कहा, कुछ भी संभव है. हासन ने एक साक्षात्कार में कहा, हमें यह पता करना है कि तमिलनाडु के लिए क्या सही है और तमिलनाडु के लिए कौन सबसे बेहतर कर सकता है.
किसने राज्य को बर्बाद किया है और किसे जाना चाहिए और कौन मेरी मदद कर सकता है. ये सब बहुत आसान सवाल हैं. अगर मैं ईमानदारी से जवाब देता हूं तो मैं अपने गठबंधन साझेदारों को जान लूंगा.
प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष तौर पर वह भाजपा की तरफ जा सकते हैं, इस बारे में लग रही अटकलों के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि उनका रुख और सिद्धांत पूरी तरह स्पष्ट है.
उन्होंने कहा, मैं अवसरवादी नहीं हूं. भले मैं उपयुक्त समय पर आया हूं लेकिन इससे मैं अवसरवादी नहीं हो जाता. मेरा एक मिशन है और मैं अपनी पूरी क्षमता से बेहतर से बेहतर करूंगा.
मेरा मिशन भारत की विविधता को बनाये रखना है. दक्षिण सिनेमा के दो बड़े स्टार हासन और रजनीकांत राजनीति में ऐसे वक्त आये जब पूर्व मुख्यमंत्री जे जयललिता के निधन और द्रमुक नेता एम करुणानिधि के खराब स्वास्थ्य के कारण तमिलनाडु में खालीपन पैदा हो गया.
उन्होंने कहा, मैं यथास्थिति को चुनौती देना चाहता हूं, मौजूदा जड़ता और भ्रष्टाचार को चुनौती देना चाहता हूं.