Bihar Election 2025: बिहार में विधानसभा चुनाव से पहले नीतीश कुमार की पार्टी जनता दल (यूनाइटेड) अपने विधायकों और संभावित उम्मीदवारों की कड़ी समीक्षा करने जा रही है. पार्टी ने इसके लिए विस्तृत योजना बनाई है, जिसके तहत पहले से जीत चुके विधायकों के कार्यों, उनके जमीनी प्रभाव और पिछले चुनाव में उनके प्रदर्शन की गहन जांच की जाएगी. रिपोर्ट संतोषजनक न होने पर विधायकों की आगे की राह मुश्किल हो सकती है और कुछ का पत्ता साफ भी हो सकता है.
पिछले चुनाव में सही उम्मीदवारों का नहीं हुआ था चयन
पार्टी सूत्रों के अनुसार, 2020 में एक बड़े और प्रभावशाली नेता के टिकट वितरण में दखल के कारण पार्टी को नुकसान उठाना पड़ा था. पिछले चुनाव में सही उम्मीदवारों का चयन न होने से जदयू को अपेक्षित परिणाम नहीं मिले. इस बार पार्टी यह सुनिश्चित करना चाहती है कि टिकट सही उम्मीदवारों को ही मिले.
पिछले चुनाव में जदयू 115 सीटों पर लड़ी थी चुनाव
जदयू ने पिछले विधानसभा चुनाव में 115 सीटों पर उम्मीदवार उतारे थे, जिनमें से केवल 43 उम्मीदवार विजयी हुए थे. बाद में बसपा और लोजपा के कुछ नेताओं ने पार्टी की सदस्यता लेकर विधायकों की संख्या 45 कर दी. इस बार पार्टी न केवल पुराने विधायकों की समीक्षा कर रही है, बल्कि नए और संभावित उम्मीदवारों की भी स्क्रीनिंग कर रही है. पार्टी कई क्षेत्रों में नए चेहरों को अवसर देना चाहती है.
बीते चुनावों की गलतियों को नहीं दोहराएगा
पार्टी का उद्देश्य स्पष्ट है- बीते चुनावों की गलतियों को दोहराए बिना चुनावी रणनीति को और मजबूत बनाना. 2015 के विधानसभा चुनाव की तुलना में पिछली बार पार्टी को 28 सीटों और डेढ़ फीसदी वोटों का नुकसान हुआ था. इस बार टिकट वितरण में पूरी सावधानी बरतते हुए जदयू जीत की संभावनाओं को बढ़ाने की रणनीति पर काम कर रही है.

