सड़क चौड़ीकरण के लिए पुराने पेड़ों को काटे जाने को लेकर कई स्थानीय लोगों में क्षोभ है. स्थानीय पर्यावरणप्रेमी संगठनों का कहना है कि एशियन हाइवे-48 के निर्माण के समय जिन पेड़ों को काटा गया था, उनकी जगह नये पौधे लगाये गये थे, लेकिन देख-रेख के अभाव में पौधे नष्ट हो गये. इसीलिए ये लोग वर्तमान सड़क निर्माण को लेकर आशंकित हैं. स्थानीय लोगों ने पेड़ों को बचाते हुए सड़क चौड़ीकरण करने का आग्रह किया है.
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सड़क चौड़ीकरण के लिए काट डाले गये वर्षों पुराने पेड़
बानरहाट: धूपगुड़ी प्रखंड अंतर्गत तेलीपाड़ा से चालसा तक कुल 40 किलोमीटर लंबी सड़क के चौड़ीकरण का काम शुरू हो गया है. इसके लिए सड़क किनारे के सौ साल से भी अधिक पुराने कई पेड़ों को काटा गया. राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के सूत्र के अनुसार तेलीपाड़ा से बिन्नागुड़ी, बानरहाट होते हुए चालसा तक की सड़क का […]
बानरहाट: धूपगुड़ी प्रखंड अंतर्गत तेलीपाड़ा से चालसा तक कुल 40 किलोमीटर लंबी सड़क के चौड़ीकरण का काम शुरू हो गया है. इसके लिए सड़क किनारे के सौ साल से भी अधिक पुराने कई पेड़ों को काटा गया. राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के सूत्र के अनुसार तेलीपाड़ा से बिन्नागुड़ी, बानरहाट होते हुए चालसा तक की सड़क का चौड़ीकरण वर्ष 2019 के भीतर समाप्त हो जायेगा.
गयेरकाटा पीडब्ल्यूडी विभाग के सूत्रों के अनुसार, तेलीपाड़ा से चालसा तक सड़क चौड़ीकरण पर 154 करोड़ रुपये की लागत आयेगी. सड़क के बीचोबीच से दोनों ओर सात मीटर चौड़ा किया जायेगा. ये सड़क बिन्नागुड़ी, बानरहाट बाजार इलाके में अधिक चौड़ी होगी. बिन्नागुड़ी और बानरहाट बाजार के दोनों ओर के दुकानदारों को निर्धारित माप के अनुसार जमीन छोड़ने के लिए कहा गया है. बिन्नागुड़ी व्यवसायी समिति के सचिव विजय प्रसाद ने बताया कि सरकारी विकासमूलक काम-काज में बाधा देना उचित नहीं है. हालांकि उन्होंने भी माना कि सड़क चौड़ीकरण के चलते दोनों तरफ के करीब 400 दुकानदार प्रभावित होंगे. सरकार को इनके पुनर्वास की व्यवस्था करनी चाहिए.
इस बारे में गयेरकाटा के एक पर्यावरण प्रेमी संगठन की ओर से कहा गया है कि एशियन हाइवे-48 के निर्माण के लिए जिन पौधों को रोपा गया था, वे देख-रेख के अभाव में नष्ट हो गये. इस बारे में वन विभाग के मोराघाट रेंज के रेंजर अजय घोष ने बताया कि जिन पेड़ों को काटा जा रहा है, उनकी कीमत का भुगतान राष्ट्रीय राजमार्ग निर्माण प्राधिकरण द्वारा कर दिया गया है. वन विभाग की तरह से सड़क के दोनों ओर लगाने के लिए पौधे दिये जायेंगे.
क्या कहते हैं इंजीनियर
सड़क चौड़ीकरण की जिम्मेदारी देख रहे गयेरकाटा पीडब्ल्यूडी के सहायक इंजीनियर आशीष धर ने बताया कि पेड़ काटने के बाद चौड़ीकरण का काम शुरू होगा. जंक्शन और बाजार इलाके में आवागमन की सुविधा के लिए अन्य जगहों की तुलना में सड़क अधिक चौड़ी की जायेगी.
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