पुलिस सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, जिस समय यह कार्रवाई हुई उस समय मोरचा सुप्रीमो विमल गुरुंग वहां नहीं थे. पुलिस को देखते ही काफी गोजमुमो समर्थक भी वहां से भाग निकले. बाद में पुलिस लौट गयी. इस बीच गोजमुमो द्वारा गोरखालैंड पर केंद्र को दिये गये अल्टीमेटम की समयसीमा समाप्त हो गयी है. उसके बाद से ही पहाड़ पर अफवाहों का बाजार गर्म है.
मंगलवार को दिनभर पहाड़ पर लोग छठी अनुसूची की बात करते रहे. लोगों का कहना था कि भाजपा सांसद तथा केंद्रीय मंत्री एसएस अहलुवालिया ने विमल गुरुंग को फोन कर 15 अगस्त के बाद छठी अनुसूची पर बातचीत का भरोसा दिया. दूसरी तरफ, गोजमुमो नेता तथा गोरखालैंड मूवमेंट को-ऑर्डिनेशन कमेटी (जीएमसीसी) के अध्यक्ष कल्याण देवान ने इन बातों को खारिज कर दिया है. उन्होंने इसे महज अफवाह करार दिया है.