कोलकाता.
जादवपुर यूनिवर्सिटी (जेयू) एक बार फिर विवादों में है. इस बार मामला इंजीनियरिंग विभाग के छात्र संघ भवन में हुई तोड़फोड़ का है. आरोप है कि बुधवार रात अज्ञात व्यक्ति ने अंधेरे का फायदा उठा कर छात्र संघ कक्ष में घुसकर तोड़फोड़ की. गुरुवार सुबह जब छात्र भवन में पहुंचे, तो उन्होंने देखा कि फर्नीचर और अन्य सामान बुरी तरह बिखरे और टूटे हुए हैं. छात्र संघ ने इस घटना को लेकर यूनिवर्सिटी प्रशासन को लिखित शिकायत सौंपी है. काउंसिल सूत्रों के अनुसार, यूनियन का कमरा रात में आमतौर पर बंद ही रहता है, लेकिन वहां न तो ताला था और न ही कोई सीसीटीवी निगरानी प्रणाली. इससे यह स्पष्ट नहीं हो सका कि घटना के समय वहां वास्तव में क्या हुआ.छात्रों के एक वर्ग का दावा है कि एक संदिग्ध युवक को परिसर में देखा गया था. उनका कहना है कि यूनिवर्सिटी का गेट नंबर चार पूरी रात खुला रहता है और इस गेट पर लगे सीसीटीवी कैमरे की फुटेज देखने से ही असली दोषी की पहचान हो सकती है. कुछ छात्रों ने संदेह जताया है कि संदिग्ध युवक किसी अन्य छात्र संगठन से जुड़ा हो सकता है. हालांकि इसकी पुष्टि नहीं हुई है.सोशल मीडिया पर छात्रों ने घटना को लेकर तीखी प्रतिक्रिया दी है और सत्तापक्ष व मुख्य विपक्षी दल, दोनों पर सवाल उठाये हैं. इंजीनियरिंग विभाग के एक स्नातकोत्तर छात्र ने कहा कि सुरक्षा व्यवस्था को लेकर लंबे समय से सवाल उठते रहे हैं. सीसीटीवी होने के बावजूद यदि निगरानी नहीं हो रही, तो ऐसी घटनाएं होना स्वाभाविक हैं.
इस मामले में तृणमूल छात्र परिषद ने अपनी संलिप्तता से इनकार किया है. संगठन की यूनिवर्सिटी इकाई का कहना है कि उनके खिलाफ लगाये गये आरोप बेबुनियाद हैं और उन्हें जान-बूझकर फंसाया जा रहा है.यूनिवर्सिटी के एसोसिएट वाइस चांसलर अमिताभ दत्ता ने कहा कि मामले की गंभीरता से जांच की जा रही है. रजिस्ट्रार इस पूरे प्रकरण की निगरानी कर रहे हैं. छात्र संघ ने दोषियों को शीघ्र सजा देने और परिसर की सुरक्षा व्यवस्था मजबूत करने की मांग की है. साथ ही छात्रों ने यह भी अनुरोध किया है कि प्रशासन इस घटना की जानकारी जादवपुर थाने को दे, ताकि कानूनी कार्रवाई भी शुरू हो सके.
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