आध्यात्मिक संगीत जगत में शोक की लहर, बांधाघाट मोक्षधाम में हुआ अंतिम संस्कार
संवाददाता, हावड़ा.
लगभग पांच दशकों तक भजनों की दुनिया को अपनी मधुर और ओजस्वी आवाज से समृद्ध करने वाले प्रख्यात भजन गायक प्रवीण बेदी का मंगलवार सुबह निधन हो गया. वह 71 वर्ष के थे. उनका देहावसान हावड़ा के सलकिया स्कूल रोड (नया मंदिर के निकट) स्थित आकाश गंगा अपार्टमेंट स्थित अपने निवास पर हुआ. युवा अवस्था से ही भजन गायन के क्षेत्र में कदम रखने वाले प्रवीण बेदी ने देशभर में आयोजित विभिन्न आध्यात्मिक आयोजनों में अपनी अनोखी प्रस्तुति और शैली से विशेष पहचान बनायी. माता रानी के जगरातों में वह एक समय सबसे लोकप्रिय गायकों में गिने जाते थे. एक ही भजन को विभिन्न रागों और शैलियों में प्रस्तुत करने की उनकी कला उन्हें भीड़ से अलग करती थी.
स्वास्थ्य कारणों के चलते उन्होंने कुछ वर्षों पूर्व सार्वजनिक आयोजनों में भाग लेना सीमित कर दिया था, लेकिन गायन से उनका जुड़ाव अंतिम समय तक बना रहा. उनके निधन की खबर से भजन प्रेमियों और आध्यात्मिक जगत में शोक की लहर दौड़ गयी. बेदी का अंतिम संस्कार मंगलवार शाम को बांधाघाट मोक्षधाम में संपन्न हुआ. वह अपने पीछे धर्मपत्नी, अनुज, तीन पुत्र–पुत्रवधुएं, एक पुत्री सहित भरापूरा परिवार छोड़ गये हैं. उनके निधन पर शोक व्यक्त करते हुए लोकप्रिय भजन रचयिता रविंद्र केजरीवाल ””रवि”” ने उन्हें सरस्वती पुत्र बताते हुए कहा, यह संगीत व भजन जगत के लिए अपूरणीय क्षति है. श्री सालासर बालाजी सेवक वृंद (बांधाघाट) के संस्थापक मोतीलाल भुवालका ने उन्हें सेवक वृंद परिवार का परम स्नेही व शुभचिंतक बताते हुए कहा कि आध्यात्मिक मंचों पर उनकी अनुपस्थिति हमेशा खलेगी.
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