फोटो फाइल: 7 एसआइएम:6-जानकारी देते एसपी सिमडेगा. केरसई में 25 अगस्त को एक घर में हुई चोरी की घटना का पुलिस ने उद्धभेदन कर लिया है. चोरी के आरोप में पुलिस ने एक युवक को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया. साथ ही परिवार के ही एक नाबालिग बालक को निरुद्ध किया गया. गिरफ्तार युवक के पास से दो मोबाइल भी जब्त किया गया है. इस संबंध में प्रेस कांफ्रेंस आयोजित कर पुलिस अधीक्षक एम अर्शी ने बताया कि वादी केरसई निवासी सचिन कुमार के लिखित आवेदन पर चोरी का मामला दर्ज किया गया था. वादी ने लिखित आवेदन में बताया था कि उसके घर से दिलदहाड़े 1,65,000 रुपये सहित सोने का एक चेन, एक जोड़ा पायल एवं एक मांग टीका की चोरी की गयी है. एसपी ने बताया कि अनुसंधान के क्रम में घटनास्थल पर जाने पर पता चला कि उक्त जगह पर किसी भी घर का कोई ताला टूटा हुआ नहीं है तथा चार से पांच चाबी का प्रयोग करके घर का दरवाजा एवं तिजोरी खोला गया है. किंतु किसी का ताला टूटा हुआ नहीं पाया गया. साक्ष्य के आधार पर यह पता चला कि इस कांड के वादी के परिवार का ही एक नाबालिग, जो बरसलोया निवासी मनीष कुमार साहू नामक युवक से लगातार संपर्क में था. उससे पूछताछ करने पर पता चला कि वह ऑनलाइन जुआ एवं गेम खेलाता है. मनीष कुमार साहू द्वारा वादी के परिवार का ही एक नाबालिग बालक को आइडी उपलब्ध कराया जाता था. जिसमें जुलाई से अगस्त के बीच करीब 70 हजार रुपया वह हार गया था. इसके बाद 24 अगस्त को वादी के परिवार का ही नाबालिग लड़का 80 हजार रुपये मनीष कुमार साहू के द्वारा व्हाट्सएप के माध्यम से भेजे गये स्कैनर के द्वारा दो किश्तों में भेजा था. पैसा भेजने के बाद मनीष कुमार साहू के द्वारा वादी के परिवार के उक्त नाबालिग लड़का को ऑनलाइन जुआ खेलने के लिए आइडी उपलब्ध कराया गया. इसके बाद भी कई बार नाबालिग द्वारा जुआ खेला गया. जिसमें वह लगातार हारता गया. चूंकि वादी के गोदरेज एवं तिजोरी का चाभी घर में ही रहता था,जिसका उपयोग उक्त नाबालिग भी करता था. 24 अगस्त को रात्रि में उक्त नाबालिग लड़का के द्वारा चोरी के नाटक का रुप देने के लिए प्लानिंग की गयी तथा 25 अगस्त को दोपहर करीब एक बजे जब घर के सभी लोग दुकान में थे तो घर के दरवाजा, तिजोरी एवं गोदरेज को चाभी से खोलकर सामान तितर बितर कर दिया गया, ताकि चोरी की तरह लगे. पूछताछ के क्रम में मनीष कुमार साहू के द्वारा पैसा लेकर ऑनलाइन जुआ खेलने के लिए आइडी उपलब्ध कराने की बात स्वीकार की गयी है. भेजे गये पैसा का स्क्रीनशॉट भी इसके मोबाइल में उपलब्ध है. साथ ही नाबालिग लड़का के द्वारा भी उसके परिजनों के समक्ष पूछताछ करने पर घटना के संबंध में अपनी संलिप्तता स्वीकार की. जांच में पता चला कि इस कांड में किसी भी प्रकार के जेवरात की चोरी नहीं हुई है.
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