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हेमंत सोरेन सरकार ने झारखंड के चार मेडिकल कॉलेजों के नाम बदले

Jharkhand News, Hemant Soren, Names of Four Medical Colleges Changed: झारखंड (Jharkhand) की हेमंत सोरेन (Hemant Soren) सरकार ने राज्य के चार मेडिकल कॉलेजों (Medical Colleges) के नाम बदल दिये हैं. मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने शनिवार (15 अगस्त, 2020) को यह घोषणा की. रांची के ऐतिहासिक मोरहाबादी मैदान (Morabadi Ground) में आयोजित 74वें स्वतंत्रता दिवस (Independence Day) समारोह को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने यह घोषणा की.

रांची : झारखंड (Jharkhand) की हेमंत सोरेन (Hemant Soren) सरकार ने राज्य के चार मेडिकल कॉलेजों (Medical Colleges) के नाम बदल दिये हैं. मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने शनिवार (15 अगस्त, 2020) को यह घोषणा की. रांची के ऐतिहासिक मोरहाबादी मैदान (Morabadi Ground) में आयोजित 74वें स्वतंत्रता दिवस (Independence Day) समारोह को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने यह घोषणा की.

श्री सोरेन ने कहा कि पलामू मेडिकल कॉलेज को अब मेदिनीराय मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल के रूप में जाना जायेगा. हजारीबाग मेडिकल कॉलेज का नाम शेख भिखारी मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल होगा, धनबाद स्थित पाटलिपुत्र मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल को अब शहीद निर्मल महतो मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल के नाम से जाना जायेगा. दुमका मेडिकल कॉलेज का नाम बदलकर फूलो-झानो मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल कर दिया गया है.

मुख्यमंत्री श्री सोरेन ने स्वतंत्रता दिवस समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि पिछली सरकार ने हजारीबाग, डाल्टनगंज एवं दुमका में मेडिकल कॉलेज का निर्माण शुरू करवाया था. वर्तमान सरकार ने तीनों कॉलेजों का निर्माण कार्य पूरा करवाया. इसे साज-ओ-सामान से लैस किया और इन तीनों मेडिकल कॉलेजों को प्रतिष्ठित मेडिकल कॉलेज के रूप में स्थापित करने के लिए सरकार प्रतिबद्ध है.

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श्री सोरेन ने कहा कि झारखंड के लोगों की भावना के अनुरूप उन्होंने पलामू मेडिकल कॉलेज, हजारीबाग मेडिकल कॉलेज, दुमका मेडिकल कॉलेज और पाटलिपुत्र मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल के नाम बदलने का फैसला किया है. मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना महामारी ने यह बता दिया है कि भविष्य में स्वास्थ्य व्यवस्था की अहमियत क्या होने वाली है.

मुख्यमंत्री ने कहा कि स्वास्थ्य व्यवस्था को नजरअंदाज करके अब कोई भी समाज आगे नहीं बढ़ सकता. झारखंड सरकार भी उपलब्ध संसाधनों का बेहतर इस्तेमाल करते हुए पूरी व्यवस्था को दुरुस्त करेगी. श्री सोरेन ने कहा कि जिस वक्त कोरोना वायरस के संक्रमण ने झारखंड में दस्तक दी, प्रदेश में कोरोना की जांच करने वाला कोई लैब नहीं था. सैंपल को कोलकाता भेजा जाता था. लेकिन, सरकार ने जांच में तेजी लाने के लिए झारखंड में कई प्रयोगशाला स्थापित किये.

श्री सोरेन ने कहा कि उनकी सरकार ने रांची, धनबाद और जमशेदपुर स्थित मेडिकल कॉलेजों के अलावा इटकी आरोग्यशाला में आरटीपीसीआर प्रयोगशाला की शुरुआत की. दुमका, हजारीबाग और पलामू में स्थित तीन मेडिकल कॉलेजों में भी कोविड-19 की जांच के लिए प्रयोगशाला बनाने का फैसला किया. हजारीबाग और पलामू में कोरोना की जांच शुरू हो चुकी है. दुमका में एक सप्ताह के भीतर कोरोना की जांच शुरू हो जायेगी.

श्री सोरेन ने कहा कि जिला अस्पतालों में 97 ट्रूनेट मशीनों की स्थापना की गयी है. भविष्य में इन जांच मशीनों की स्थापना प्रखंड स्तर पर भी की जायेगी. मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार ने कोरोना के संक्रमण से बचाव, रोकथाम एवं इलाज के लिए कोरेंटिन सेंटर की व्यवस्था की, सैंपल संग्रह, स्क्रीनिंग के इंतजाम के साथ-साथ कोविड-19 अस्पतालों की समुचित व्यवस्था भी की.

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श्री सोरेन ने कहा कि कोरोना महामारी से लड़ने के लिए सरकार और उसकी मशीनरी युद्धस्तर पर काम कर रही है. इस महामारी से बचाव के उपायों के बारे में व्यापक प्रचार-प्रसार किया जा रहा है. आम लोगों को जागरूक करने के लिए अभियान चलाया जा रहा है, जिससे संक्रमण के असर को कम करने में काफी हद तक सफलता मिली है.

Posted By : Mithilesh Jha

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