Babulal Marandi, रांची : झारखंड के सरकारी स्कूलों में परीक्षा व्यवस्था को लेकर राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री और भाजपा विधायक दल के नेता बाबूलाल मरांडी ने सरकार पर गंभीर सवाल खड़े किये हैं. दरअसल उन्होंने अभी तक स्कूलों में परीक्षा संपन्न न होने को लेकर चिंता जाहिर की है और इसी मामले में सरकार को कटघरे में खड़ा किया है. उन्होंने सोमवार को अपने सोशल मीडिया हैंडल एक्स पर ट्वीट कर लिखा कि शैक्षणिक सत्र शुरू हुए आठ महीने बीत चुके हैं, लेकिन अब तक किसी भी कक्षा की परीक्षा नहीं कराई गई है. यह बेहद शर्मनाक स्थिति है.
बाबूलाल मरांडी का सवाल कैसे होगा छात्रों की प्रगति का निर्धारण?
बाबूलाल मरांडी ने हेमंत सरकार से सवाल पूछा कि जब परीक्षा ही नहीं होगी, तो बच्चों को अगली कक्षा में प्रोन्नत कैसे किया जाएगा? बिना मूल्यांकन के छात्रों की प्रगति का निर्धारण किस आधार पर होगा? आगे झारखंड बीजेपी के इस वरिष्ठ नेता ने जेपीएससी और जेएसएससी की परीक्षा समय पर आयोजित न कराने को लेकर भी सरकार को लपेट लिया.
JPSC और JSSC की परीक्षा कराने में भी नाकाम रही है सरकार : बाबूलाल मरांडी
झारखंड के नेता प्रतिपक्ष ने लिखा कि JPSC और JSSC की परीक्षाओं को आयोजित कराने में पहले से ही सरकार नाकाम रही है, और अब स्कूलों में भी परीक्षा न करा पाना सरकार की “सबसे बड़ी विफलता” है. उन्होंने दावा किया कि इस लापरवाही का खामियाजा राज्य के करीब 45 लाख बच्चों को भुगतना पड़ेगा.
बाबूलाल मरांडी ने मुख्यमंत्री पर साधा सीधा निशाना
बाबूलाल मरांडी ने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन पर निशाना साधते हुए लिखा कि यदि वसूली और लूट-खसोट के कारण मुख्यमंत्री को शिक्षा विभाग की समीक्षा का समय नहीं मिल पा रहा है, तो उन्हें यह जिम्मेदारी किसी सक्षम मंत्री को सौंप देनी चाहिए. उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि “आपके बच्चे तो महंगे निजी स्कूलों में बेहतरीन शिक्षा पा ही लेंगे, लेकिन गरीब परिवारों के लाखों बच्चे आपकी नाकामी का बोझ उठाने को मजबूर हैं.”

