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विरोध: सीएनटी एक्ट के मुद्दे पर बोले बाबूलाल, पास नहीं होने देंगे संशोधन विधेयक

रांची: झाविमो सुप्रीमो बाबूलाल मरांडी ने कहा कि सरकार की ओर से विधानसभा में सीएनटी-एसपीटी एक्ट में संशोधन का बिल लाया जा रहा है. इसे किसी भी कीमत पर पास नहीं होने दिया जायेगा. एक्ट में संशोधन के खिलाफ सड़क से सदन तक आंदोलन किया जायेगा. 23 नवंबर को विपक्षी दलों की ओर से विधानसभा […]

रांची: झाविमो सुप्रीमो बाबूलाल मरांडी ने कहा कि सरकार की ओर से विधानसभा में सीएनटी-एसपीटी एक्ट में संशोधन का बिल लाया जा रहा है. इसे किसी भी कीमत पर पास नहीं होने दिया जायेगा. एक्ट में संशोधन के खिलाफ सड़क से सदन तक आंदोलन किया जायेगा. 23 नवंबर को विपक्षी दलों की ओर से विधानसभा का घेराव किया जायेगा.

सरकार एक्ट में संशोधन लाकर आदिवासियों को जमीन से बेदखल करने का अभियान चला रही है. इसके खिलाफ आंदोलन करनेवालों की अावाज दबायी जा रही है. विरोध करनेवाले सात लोगों को गोली मार दी गयी है. इसमें सैकड़ों लोग घायल हुए हैं. श्री मरांडी शनिवार को पार्टी कार्यालय में पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे. मौके पर जदयू नेत्री सुधा चौधरी, मासस नेता सुशांतो, राजद नेता अनिल सिंह आजाद समेत कई लोग मौजूद थे.

जब डिमांड नहीं है, तो क्यों चाहते हैं संशोधन
श्री मरांडी ने कहा कि सीएनटी-एसपीटी एक्ट में संशोधन को लेकर न तो आदिवासी और न ही एससी वर्ग की ओर से मांग की जा रही है. फिर भी सरकार संशोधन करने पर आमादा है. इससे साबित होता है कि इसके लिए कॉरपोरेट घरानों के साथ डील हुई है. अगर सरकार आदिवासियों की हितैषी है, तो वनाधिकार पट्टा का वितरण करे. सरकार की ओर से आदिवासियों को मात्र 10-20 डिसमिल की जमीन का पट्टा बांटा जा रहा है. किसी कंपनी के लिए जमीन का अधिग्रहण किया गया है और वह कंपनी बंद हो जाती है, तो जमीन रैयतों को वापस करने का प्रावधान हो.
बिल रोकने को होगा आंदोलन : सुधा चौधरी
जदयू की सुधा चौधरी ने कहा कि सरकार की ओर से सीएनटी-एसपीटी एक्ट में किये जा रहे संशोधन के खिलाफ जोरदार आंदोलन किया जायेगा. जब तक बिल वापस नहीं होता है, तब तक आंदोलन जारी रहेगा. मासस के सुशांतो ने कहा कि यह अडाणी-अंबानी की सरकार है. झारखंड को लूटा जा रहा है. सरकार गलत तरीके से अधिग्रहण की गयी जमीन रैयतों को वापस करे. राजद नेता अनिल सिंह आजाद ने कहा कि सरकार आदिवासियों को जमीन से बेदखल करना चाहती है.

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