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झारखंड के संदर्भ में लिखित चार पुस्तकों का हुआ विमोचन, सीएम ने कहा- अस्थिर सरकार से झारखंड का विकास संभव नहीं
रांची : अस्थिर सरकार से विकास संभव नहीं है. कमजोर सरकार का सारा ध्यान अपनी कुर्सी बचाने में चला जाता है. इससे कुशासन और भ्रष्टाचार भी बढ़ता है. ऐसी सरकार में विकास नहीं होने पर नौकरशाही को दोष नहीं दे सकते हैं. सरकार ने जनता की अपेक्षाएं पूरी करने को लेकर हर सेक्टर में काम […]
रांची : अस्थिर सरकार से विकास संभव नहीं है. कमजोर सरकार का सारा ध्यान अपनी कुर्सी बचाने में चला जाता है. इससे कुशासन और भ्रष्टाचार भी बढ़ता है. ऐसी सरकार में विकास नहीं होने पर नौकरशाही को दोष नहीं दे सकते हैं. सरकार ने जनता की अपेक्षाएं पूरी करने को लेकर हर सेक्टर में काम किया है. मैं अब भी मानता हूं कि जनता की अपेक्षा पूरी नहीं हो पायी है.
किसी भी राज्य को विकसित राज्य की श्रेणी में आने के लिए जरूरी है कि 10 वर्ष तक स्थिर सरकार रहे. ये बातें मुख्यमंत्री रघुवर दास ने रविवार को कहीं. वह रविवार को आर्यभट्ट सभागार में प्रभात खबर के कार्यकारी संपादक अनुज कुमार सिन्हा द्वारा लिखित चार पुस्तकों के विमोचन समारोह में बोल रहे थे. इस मौके पर श्री सिन्हा की ओर से लिखित पुस्तकों महात्मा गांधी की झारखंड यात्रा, असली झारखंड, झारखंड : आदिवासी पहचान का संकट व ब्यूरोक्रेट्स और झारखंड का विमोचन किया गया. इस अवसर पर स्वागत भाषण प्रभात प्रकाशन के प्रबंध निदेशक पीयूष कुमार ने दिया.
झारखंड की धड़कन को शब्दों में पिरोया : अशोक भगत : पद्मश्री अशोक भगत ने कहा कि इन पुस्तकों के माध्यम से आज की पीढ़ी को जानकारी देने का एक सराहनीय प्रयास है. झारखंड को नजदीक से देखते हुए शब्दों का रूप दिया गया है. गांधीजी के झारखंड आगमन का संकलन काफी अच्छा है. आदिवासी संस्कृति प्रेरणा केंद्र को इस पुस्तक में उजागर किया गया है.
तकनीक के कारण छूट रहा पढ़ना-लिखना : प्रभात खबर के प्रधान संपादक आशुतोष चतुर्वेदी ने कहा कि अमेरिका में नया ट्रेंड चल रहा है. इसे एलिट्रेसी नाम दिया गया है.
इसमें लोग पढ़ना-लिखना छोड़ देते हैं. इनका सारा काम कंप्यूटर व मोबाइल पर होता है. आज अमेरिका में ऐसी स्थिति उत्पन्न हो गयी है कि 30 प्रतिशत लोग चेक पर साइन भी नहीं कर पाते हैं. यह गंभीर विषय है. इससे हमें सचेत रहने की जरूरत है. उन्होंने कहा आज शहरों में धड़ल्ले से मॉल खुल रहे हैं, लेकिन इसमें बुक स्टॉल का कोई स्थान नहीं है. इस पर हमें ध्यान देने की जरूरत है.
नयी पीढ़ी में लिखने-पढ़ने की आदत कम हो रही : प्रभात खबर के प्रबंध निदेशक केके गोयनका ने कहा कि आज नयी पीढ़ी में लिखने-पढ़ने की आदत कम हो रही है. दो अक्तूबर को महात्मा गांधी की 150 वीं जयंती मनायी जा रही है. ऐसे में यह पुस्तक झारखंड के लोगों की ओर से सच्ची श्रद्धांजलि होगी. पुस्तक का इस्तेमाल दस्तावेज के रूप में किया जा सकता है.
राज्य के लोगों को मिलेगी जानकारी : लेखक अनुज कुमार सिन्हा ने कहा कि राज्य के लोगों को दस्तावेज और जानकारी इन पुस्तकों से मिलेगी. हमारा उद्देश्य है कि राज्य के लोग खुश और समृद्ध रहें. इन पुस्तकों के माध्यम से प्रतियोगिता परीक्षा की तैयारी कर रहे युवाओं को लाभ होगा. मौके पर प्रभात प्रकाशन के प्रबंध निदेशक पीयूष कुमार, पद्मश्री बलबीर दत्त, रांची विश्वविद्यालय के कुलपति रमेश कुमार पांडेय, पूर्व कुलपति डॉ केके नाग, जैक चेयरमैन अरविंद कुमार, विधायक जीतू चरण राम, न्यायमूर्ति विक्रमादित्य प्रसाद, सुरेंद्र प्रसाद सिन्हा समेत कई गण्यमान लोग उपस्थित थे.
राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश ने कहा
राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश ने कहा कि देश में महात्मा गांधी की 150वीं जयंती नये तरीके से मनाने की तैयारी चल रही है. दुनिया में इस बात को लेकर शोध चल रहा है कि मानव संस्कृति का भविष्य कैसा रहेगा. प्रकृति व पर्यावरण को लेकर महात्मा गांधी का चिंतन प्रासंगिक है. गांधी जी के अहिंसा आंदोलन ने मिट्टी से जुड़े लोगों को ताकतवर बनाकर दुनिया को बदलने का काम किया.
गांधी जी के अहिंसा आंदोलन का बीजारोपण रांची में हुआ था. इसका उल्लेख दस्तावेज में भी मिलता है. उन्होंने कहा कि गांधी जी जब जब झारखंड में रहे, तो वे टाना भगतों से काफी प्रभावित हुए. इस पर टीएससी से जुड़े लोगों को शोध करना चाहिए. श्री हरिवंश ने कहा कि महात्मा गांधी कई बार झारखंड आये. लगभग सभी जिलों में गये. सरकार को चाहिए कि गांधी जी जहां-जहां आये थे, वहां पर शिलापट्ट लगा देना चाहिए, ताकि लोगों को उनके बारे में जानकारी प्राप्त हो सके.
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