रांचीः फेडरेशन ऑफ झारखंड चेंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्रीज (एफजेसीसीआइ) के नये सत्र का चुनाव 27 अगस्त को हरमू रोड स्थित मारवाड़ी भवन में होगा. वहीं वार्षिक आमसभा 26 अगस्त को होगी. बुधवार को चेंबर भवन में आयोजित कार्यकारिणी समिति की बैठक में यह निर्णय लिया गया. चेंबर अध्यक्ष विनय अग्रवाल ने कहा कि चुनाव के लिए चेंबर के पूर्व अध्यक्ष ललित केडिया को चेयरमैन और विष्णु बुधिया को को-चेयरमैन बनाया गया है.
दो सत्रों में होगी आमसभा बैठक में तय किया गया कि प्रदेश के मुख्यमंत्री या केंद्रीय मंत्री की उपस्थिति में झारखंड चेंबर की वार्षिक आमसभा दो सत्रों में आयोजित होगी. बैठक में चेंबर के सत्र 2016-17 के अनऑडिटेड एकाउंट्स को अल्प सुधारों के साथ पास किया गया. जेनरेटर के सहारे चल रहा व्यापार : बैठक में सदस्यों ने झारखंड बिजली वितरण निगम लिमिटेड के प्रति नाराजगी जतायी. कहा गया कि प्रदेश में उत्पन्न बिजली संकट से व्यापार उद्योग बंद हैं. जनरेटर के सहारे व्यापार चल रहा है. बैठक में कुल 65 व्यवसायियों ने चेंबर की आजीवन सदस्यता ली.
चेंबर के पत्रिका के नये अंक का विमोचन भी किया गया. व्यवसायियों ने झारखंड में लागू होनेवाले इ-वेबिल के कारण होनेवाली परेशानियों के सभी सभा को अवगत कराया. साथ ही बिल्डर व्यवसायियों ने बालू नहीं मिलने के कारण हो रही परेशानियों को उठाया. बैठक में झारखंड चेंबर के उपाध्यक्ष तुलसी पटेल, कुणाल अजमानी, महासचिव रंजीत गाड़ोदिया, सह सचिव राहुल मारू, आनंद गोयल, कोषाध्यक्ष सोनी मेहता, कार्यकारिणी सदस्य दीनदयाल वर्णवाल, राम बांगड़, वरुण जालान, मनीष सर्राफ, अनिल गाड़ोदिया, सदस्य रंजीत टिबड़ेवाल, रतन मोदी, पवन शर्मा, केके पोद्दार, ललित केडिया, विष्णु बुधिया, आरके सरावगी, अरुण बुधिया, अंचल किंगर, निर्मल झुनझुनवाला, एनके पाटोदिया, किशन अग्रवाल, संजय अखौरी, प्रमोद श्रीवास्तव, डॉ रवि भट्ट, शंभु चूड़िवाला, मुकेश जाजोदिया, प्रवीण जैन छाबड़ा, साकेत मोदी आदि उपस्थित थे. आरडी सिंह ने सौंपा पत्र झारखंड चेंबर के सदस्य आरडी सिंह ने चेंबर अध्यक्ष के नाम बुधवार को पत्र सौंपा है.
पत्र में कहा गया है कि 12 मई को सात सदस्यों ने त्यागपत्र सौंपा था. साथ ही अनुरोध किया गया था कि इसकी सूचना रजिस्ट्रार आॅफ कंपनी को दी जाये, लेकिन आज तक इसकी सूचना नहीं दी गयी. वहीं 22 अप्रैल को हुई कार्यकारिणी की बैठक में 116 सदस्यों ने संविधान संशोधन का प्रस्ताव दिया था, लेकिन 23 जुलाई को हुई आमसभा में इस प्रस्ताव को शामिल नहीं किया गया. कंपनी एक्ट एवं सदस्यों के प्रस्तावों की अनदेखी की गयी है.