मांडू : प्रखंड के गरगाली स्थित उप स्वास्थ्य केंद्र सप्ताह में एक ही दिन खुलता है. बाकी अन्य दिन उप स्वास्थ्य केंद्र में ताला लटका रहता है. ऐसे में करीब तीन हजार आबादी वाले गांव के ग्रामीण चिकित्सा सेवा से वंचित हैं. जबकि राज्य सरकार द्वारा ग्रामीण मरीजों को चिकित्सा सेवा सुविधा प्रदान करने के लिए कई योजना चलाया जा रहा है. लेकिन धरातल पर स्वास्थ्य सुविधा बदहाल है.
जानकारी के अनुसार बेहतर चिकित्सा सुविधा मुहैया कराने के उद्देश्य से गरगाली में वर्ष 2013 में करीब 22 लाख की लागत से उप स्वास्थ्य केंद्र का निर्माण कराया गया है. लेकिन उक्त उप स्वास्थ्य केंद्र में आज तक चिकित्सक की प्रतिनियुक्ति नहीं की गयी है.
जिसके कारण ग्रामीण मरीज करीब तीन किलोमीटर चलकर सीएचसी मांडू में उपचार कराने आते हैं और कई मरीज प्राईवेट अस्पताल में ईलाज के लिए अपने परिजनों के साथ चले जाते हैं. उक्त उप स्वास्थ्य केंद्र मात्र एक एएनएम के भरोसे संचालित है. जहां एएनएम के द्वारा गांव के गर्भवती महिलाओं की सिर्फ जांच की जाती है.
क्या कहना है मुखिया का
उप स्वास्थ्य केंद्र गरगाली का हाल पूछने पर मांडू चटी पंचायत की मुखिया फुलमति देवी ने स्वास्थ्य विभाग से केंद्र में चिकित्सक की मांग की. कहा कि उपकेंद्र में चिकित्सक, एएनएम व दवा की उपलब्धता नहीं है. साथ ही उप स्वास्थ्य केंद्र महीने में एक या दो दिन ही खुलता है. ग्रामीण मरीजों को ईलाज के लिए इधर-उधर भटकना पड़ता है. उन्होंने उपायुक्त से भी मिलकर उप स्वास्थ्य केंद्र की समस्या के बारे अवगत कराने की बात बतायी.
क्या कहते हैं सीएचसी के प्रभारी
समुदायिक स्वास्थ्य केंद्र मांडू के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ अशोक राम ने बताया कि सीएचसी में चिकित्सकों की कमी है. सीएचसी के चिकित्सक के देखरेख में ही ग्रामीण मरीजों का उपचार किया जाता है. साथ ही उन्होंने गरगाली उप स्वास्थ्य केंद्र में सप्ताह के एक दिन एएनएम को भेजे जाने की बात बतायी.