मेदिनीनगर. पलामू जिले के सदर थाना पुलिस ने हथनी चोरी कांड का खुलासा करते हुए चोरी गयी हथनी को बिहार के छपरा जिले के अमनौर थाना क्षेत्र के पहाड़पुर गांव से बरामद कर लिया है. पुलिस ने हथनी को गोरख सिंह उर्फ अभिमन्यु सिंह के घर से जब्त किया और फिलहाल जिम्मेनामा पर उन्हीं के पास छोड़ दिया है. इस मामले में महावत मुन्ना पांडेय और मन्ना पाठक फरार हैं, जिनकी गिरफ्तारी के लिए पुलिस लगातार छापामारी कर रही है. क्या है पूरा मामला उत्तर प्रदेश के मिर्जापुर जिले के निफरा गांव निवासी नरेंद्र कुमार शुक्ला और उसके तीन साथियों ने करीब 27 लाख रुपये में जयमती नामक हथनी खरीदी थी. देखरेख की जिम्मेदारी नरेंद्र को दी गयी. सुविधा के अभाव में उसने हथनी को अपने महावत मुन्ना पांडेय के साथ झारखंड के पलामू के जोरकट गांव भेज दिया. यहां दूसरा महावत मन्ना पाठक भी दूसरी हथनी के साथ रह रहा था. दोनों महावत की दोस्ती मिर्जापुर निवासी ताड़केश्वर नाथ तिवारी से हो गयी. बताया जाता है कि ताड़केश्वर हथनी बेचने की सलाह देता रहता था और उसके बहकावे में आकर महावतों ने हथनी को बेच दिया. 12 अगस्त को नरेंद्र को हथनी के गायब होने की जानकारी मिली. 13 अगस्त को जब वह जोरकट पहुंचा, तो दोनों महावत भी फरार मिले. काफी खोजबीन के बाद नरेंद्र ने 12 सितंबर को सदर थाना में चोरी का मामला दर्ज कराया. एसपी ने लिया संज्ञान मामले की गंभीरता को देखते हुए एसपी रिष्मा रमेसन ने एक विशेष टीम का गठन कर जांच का निर्देश दिया. छानबीन में हथनी बिहार के छपरा जिले के पहाड़पुर गांव में बरामद हुई। सत्यापन में यह पुष्टि हुई कि वही चोरी की गयी हथनी है. तीन पीढ़ियों की है परंपरा गोरख सिंह ने बताया कि उनके परिवार में तीन पीढ़ियों से हाथी पालने की परंपरा रही है. वर्तमान में उनके घर में तीन हाथी पहले से मौजूद हैं. हथनी खरीदने के समय उन्हें जानकारी नहीं थी कि यह चोरी की है। उन्होंने प्रशासन को पूरी बात से अवगत करा दिया, जिसके बाद जिम्मेनामा पर हथनी उन्हीं के पास छोड़ दी गयी.
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