भंडरा़ ऐतिहासिक धोबाली जतरा महोत्सव का आयोजन भंडरा में सफलतापूर्वक संपन्न हुआ. धोबाली जतरा वर्षों से आयोजित हो रहा है और आदिवासी संस्कृति एवं परंपरा का जीवंत प्रतीक माना जाता है. इस वर्ष महोत्सव में पारंपरिक भैंसा लड़ाने की रस्म विशेष आकर्षण का केंद्र रही, जिसे देखने दूर-दराज़ से लोग पहुंचे और अपनी सांस्कृतिक धरोहर से जुड़ने का अनुभव किया. आसपास के गांवों की दर्जनों खोड़हा मंडलियों ने पारंपरिक नृत्य और लोकगीतों का शानदार प्रदर्शन कर दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया. मांदर की थाप और गीतों की गूंज ने पूरे माहौल को उत्सवमय बना दिया. महोत्सव में बतौर मुख्य अतिथि भाजपा अनुसूचित जनजाति मोर्चा झारखंड प्रदेश के महामंत्री बिन्देश्वर उरांव शामिल हुए, जबकि जिला परिषद सदस्य राजमणि उरांव विशिष्ट अतिथि रहे. ग्राम प्रधान सुरेंद्र उरांव, गुलसन उरांव, जलेश्वर उरांव, प्रमोद उरांव, बिरिया उरांव, हरि उरांव, एतवा उरांव और सुशील उरांव भी प्रमुख रूप से उपस्थित थे. मुख्य अतिथि बिन्देश्वर उरांव ने कहा कि धोबाली जतरा केवल एक उत्सव नहीं, बल्कि हमारी आदिवासी संस्कृति, परंपरा और सामुदायिक एकजुटता का प्रतीक है. इसे संरक्षित कर आने वाली पीढ़ियों तक पहुंचाना हम सबकी जिम्मेदारी है. विशिष्ट अतिथि राजमणि उरांव ने भी महोत्सव की सराहना करते हुए कहा कि ऐसे आयोजन हमारी जड़ों से जोड़ते हैं और सामाजिक एकता को मजबूत करते हैं. कार्यक्रम में काफी संख्या में लोग उपस्थित थे़
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