प्रतिनिधि, नाला. जिले के प्रसिद्ध देवलेश्वर मंदिर, मोहजोड़ी, पहाड़गोड़ा, नाला के कर्दमेश्वर मंदिर और महेशमुंडा स्थित शिव मंदिरों में बांग्ला पंचांग के अनुसार अंतिम सोमवार को श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ी. सुबह से ही कांवरिया और अन्य श्रद्धालुओं ने जलाभिषेक और पूजा-अर्चना की. “बोल बम ” और “जय बाबा भोलेनाथ ” के जयकारों से मंदिर परिसर गुंजायमान रहा. श्रद्धालुओं ने कतार में लगकर बाबा के दरबार में जलाभिषेक किया और पूजा अर्चना की. मंदिर कमेटी ने श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए कतारबद्ध पूजा अर्चना की व्यवस्था की थी. दिन चढ़ने के साथ ही स्थानीय और दूर-दराज से श्रद्धालुओं की लंबी कतारें देखी गईं. श्रद्धालुओं ने बाबा देवलेश्वर का जलाभिषेक करने के बाद मंदिर परिसर में स्थापित अन्य देवी-देवताओं की पूजा-अर्चना कर मन्नतें मांगी. महेशमुंडा स्थित अजय नदी से कांवर में जल भरकर श्रद्धालु मंदिर पहुंचे और बाबा देवलेश्वर को जल चढ़ाकर दर्शन किए. जिले का प्रसिद्ध देवालय होने के कारण हर साल श्रावणी मेला में दूर-दराज से बड़ी संख्या में श्रद्धालु बाबा देवलेश्वर का जलाभिषेक करने आते हैं. बाबा बैद्यनाथ और बासुकिनाथ का जलाभिषेक करने के बाद कांवरिया देवलेश्वर मंदिर पहुंचते हैं. कमेटी द्वारा महीनों तक चलने वाले अखंड हरिनाम संकीर्तन का भी आयोजन किया गया है. इस अवसर पर बीरभूम बाबुईजोड़ के श्रद्धालुओं ने यहां पहुंचे श्रद्धालुओं को अल्पाहार वितरित किया. स्थानीय श्रद्धालुओं द्वारा बाबा देवलेश्वर की प्रतिकृति का निर्माण कर गाजा-बाजा के साथ मंदिर लाया गया, जो श्रद्धालुओं के आकर्षण का केंद्र रहा.
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