जमशेदपुरः बाल मजदूरी हो या बच्चों का शोषण, नैतिक, आध्यात्मिक ज्ञान और अनुशासन के जरिये ही उसे नियंत्रित किया जा सकता है. यह बात एमजीएम मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ एएन मिश्र ने कही.
संगोष्ठी धातकीडीह स्थित जैन कॉलेज के द्वारा आयोजित थी. विशिष्ट अतिथि टाटा स्टील के गोविंद माधव शरण ने मिलिट्री के माध्यम से सभी के लिए कम से कम दो वर्ष अनुशासन की शिक्षा अनिवार्य करने पर बल दिया. एमजीएम के गायनिक विभागाध्यक्ष डॉ बीके चौधरी ने आये दिन होने वाली घटनाओं को भारतीय संस्कृति पर धब्बा बताते हुए नैतिकता का पाठ पढ़ने और मानसिकता बदलने की आवश्यकता बतायी. डीएसपी (विधि-व्यवस्था) कन्हैया उपाध्याय ने भी कहा कि बाल शोषण पर अंकुश तभी लगेगा, जब नैतिकता आयेगी और मानसिकता बदलेगी. वरिष्ठ पत्रकार साकेत पुरी ने भी नैतिकता व मानसिकता की बात की, लेकिन इसे सिर्फ करने नहीं, बल्कि आत्मसात करने पर बल दिया.
ओनली मी का विमोचन
इससे पूर्व कॉलेज के छात्र निखिल द्वारा शारदा चाइल्ड एब्यूज पर निर्मित शार्ट फिल्म ओनली मी का विमोचन किया गया. इस अवसर पर बच्चे की मां का किरदार निभाने वाली नायिका व शिक्षिका सीता सिंह को सम्मानित किया गया.