जमशेदपुर: झारखंड एकेडमिक काउंसिल से जिस स्कूल की स्थापना अनुमति रद्द करने की अनुशंसा जिला शिक्षा विभाग ने की, उसी स्कूल से 2016 की मैट्रिक परीक्षा में शामिल होने के लिए 400 विद्यार्थियों का रजिस्ट्रेशन करवाया जा रहा है. हम बात कर रहे हैं हनीफिया हाइ स्कूल की.
इस स्कूल प्रबंधन के पदाधिकारी को फर्जी एडमिट कार्ड जारी करने से लेकर नौवीं के प्रश्न पत्र लीक करवाने के मामले में भी आरोपी बनाया गया था. गौरतलब है कि जिले के चार स्कूलों को जिला शिक्षा विभाग की ओर से ब्लैक लिस्टेड घोषित किया गया है. इन चारों स्कूलों की स्थापना अनुमति को रद्द करने की अनुशंसा शिक्षा विभाग ने ही झारखंड एकेडमिक काउंसिल से की है. इनमें से तीन स्कूलों को मैट्रिक में रजिस्ट्रेशन पर रोक लगा दी गयी है. लेकिन हनीफिया हाइ स्कूल को मैट्रिक में रजिस्ट्रेशन की अनुमति दे दी गयी.
क्यों हुई थी अनुमति रद्द करने की अनुशंसा
हनीफिया हाइ स्कूल के संचालक पर सबसे पहले झारखंड एकेडमिक काउंसिल ने वित्तीय अनियमितता का आरोप लगाया था. इस मामले में उसे जेल भेजा गया. इसके बाद जिले के पांच विद्यार्थियों को फर्जी एडमिट कार्ड पर मैट्रिक की परीक्षा में एपीयर करवाया गया. इसके साथ ही नौवीं की परीक्षा से पूर्व ही प्रश्न पत्र लीक करवाने के आरोप में भी स्कूल संचालक पर मुकदमा कर जेल भेजा जा चुका है.
क्या है विभाग का तर्क
जिला शिक्षा पदाधिकारी मुकेश कुमार सिन्हा ने कहा कि उन्हें इस मामले की कोई जानकारी नहीं है कि आखिर हनीफिया को कैसे फॉर्म भरने दे दिया गया. स्थापना अनुमति रद्द करने की अनुशंसा वाले स्कूल से कैसे फॉर्म भरवाया गया, इसे लेकर विभाग के कनीय अधिकारियों से बात की जायेगी. अगर किसी तरह से उसे फॉर्म भरने दे भी दिया गया है तो मामले की जांच कर इस पर रोक लगायी जायेगी. विभाग से दिशा निर्देश लेकर इस मामले में कार्रवाई की जायेगी.
यह गंभीर मामला है. स्थापना अनुमति रद्द करने की अनुशंसा की जानकारी मुङो है. वर्तमान में क्या कुछ चल रहा है इसकी जानकारी फिलहाल नहीं है. मेरी तबीयत थोड़ी खराब है. कल ऑफिस जाकर इस मामले की जानकारी लूंगा. डॉ आनंद भूषण, चेयरमैन, झारखंड एकेडमिक काउंसिल
व्यक्तिगत कारणों की वजह से पूर्व में मेरे स्कूल की स्थापना अनुमति रद्द करने की अनुशंसा की गयी थी. जहां तक प्रश्न पत्र लीक करवाने का मामला है तो यह पूरी तरह गलत है. इस मामले में मैं निदरेष हूं. मैट्रिक का परीक्षा फार्म नियम के अनुसार भरवाया जा रहा है. इसमें कुछ भी अनुचित नहीं किया गया है.
मो. ताहिर हुसैन, प्रधानाचार्य, हनीफिया हाइ स्कूल, आदाजनगर मानगो