जमशेदपुर: टाटा स्टील को झारखंड में खदान का कोई संकट नहीं होगा. यह आश्वासन राज्य के मंत्री राजेंद्र सिंह ने दिया है. श्री सिंह से डायरेक्टर्स बंगला में शुक्रवार को टाटा स्टील के एमडी टीवी नरेंद्रन की मुलाकात हुई. करीब आधे घंटे की मुलाकात के दौरान टाटा वर्कर्स यूनियन के अध्यक्ष पीएन सिंह और महामंत्री बीके डिंडा भी मौजूद थे.
मुलाकात के दौरान खदान संकट पर बातचीत हुई. ओड़िशा में करीब सात खदान बंद हो चुके हैं. झारखंड में भी कहीं इस तरह का संकट उत्पन्न नहीं हो जाये, इसको लेकर आशंका टाटा स्टील की ओर से जतायी गयी. यूनियन की ओर से कंपनी को बचाने और मजदूरों की समस्याओं के निराकरण पर चर्चा की गयी ताकि खदान का संकट झारखंड में भी उत्पन्न नहीं हो जाये.
इसके बारे में मंत्री राजेंद्र सिंह ने बताया कि खदानों का कोई संकट यहां नहीं होने दिया जायेगा. इस बारे में मुख्यमंत्री से बातचीत पहले भी हुई है. वैसे एक या दो दिनों के भीतर रांची में भी टाटा स्टील के अधिकारियों के साथ सरकार के मुख्यमंत्री और अन्य लोगों की मुलाकात होगी, जिसमें इसको लेकर स्थिति स्पष्ट की जायेगी और तमाम मसलों का हल निकाला जायेगा. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार चाहती है कि यहां निवेश बढ़े, रोजगार के अवसर और बढ़े, लिहाजा, वर्तमान कंपनियों को दिक्कत हो, यह होने सरकार नहीं देगी.
मुलाकात औपचारिक थी : अध्यक्ष. यूनियन अध्यक्ष पीएन सिंह ने बताया कि यह मुलाकात औपचारिक थी, कंपनी से जुड़े मसले पर चर्चा हुई है. इससे ज्यादा कुछ नहीं कहा जा सकता.वेज रिवीजन पर वार्ता लटकी. टाटा स्टील के खदान संकट के कारण वेज रिवीजन पर वार्ता लटकी हुई है. बताया जाता है कि इसको लेकर अभी वार्ता का माहौल भी नहीं है और इस समस्या का निराकरण कैसे किया जाये, इसके लिए प्रयास चल रहा है. वेज रिवीजन कब होगा, इसकी स्थिति स्पष्ट नहीं की गयी है.
केबुल यूनियन के लोगों ने राजेंद्र सिंह से मुलाकात की
इंडियन केबुल वर्कर्स यूनियन के पदाधिकारी रामबिनोद सिंह और राजू झा ने मंत्री राजेंद्र सिंह से मुलाकात की तथा बंद कंपनी को खुलवाने में सरकार के स्तर पर मदद की गुहार लगायी. मंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार के साथ पत्रचार कर समस्या का निराकरण कराया जायेगा.