गुमला. गुमला प्रखंड की वृंदा पंचायत के बहवारटोली व नायकटोली में व्याप्त पेयजल संकट को लेकर ग्रामीण मुखिया सत्यवती देवी के नेतृत्व में सोमवार को करीब 11 बजे पीएचइडी (पेयजल एवं स्वच्छता प्रमंडल) कार्यालय पहुंचे. लेकिन उन्हें करीब सवा घंटे तक इंतजार करना पड़ा, क्योंकि कार्यालय दोपहर 12.15 बजे के बाद खुला. 12.15 बजे एक कर्मी पहुंच कार्यालय खोला. कर्मी ने ग्रामीणों के पहुंचने की सूचना जेइ को दी. सूचना मिलते जेई कार्यालय पहुंचे. इसके मुखिया सत्यवती देवी ने बहवारटोली व नायकटोली में व्याप्त पेयजल समस्या की जानकारी देते हुए बताया कि दोनों टोले में नल जल योजना से काम हुआ है और पेयजल मुहैया कराने के लिए जलमीनार बनायी गयी है. बहवारटोली में तीन जलमीनार हैं, लेकिन तीनों जलमीनार बेकार पड़ी हैं. तीनों जलमीनार का सबमर्सिबल जलमीनार के समीप स्थित पुराने चापानल में लगाया गया है. चापानल पुराना होने और उसमें पानी नहीं होने के कारण जलमीनार बेकार पड़ी हैं. इससे गांव के लोग गांव से लगभग दो किमी दूर खेत में बने एक कुआं से पीने के लिए पानी लाते हैं. लेकिन गर्मी अधिक पड़ने के कारण उस कुएं का पानी भी सूख रहा है. वहीं नायकटोली में चार स्थानों पर जलमीनार बनायी गयी है. लेकिन उसमें से तीन जलमीनार बेकार पड़ी हैं. प्रचंड गर्मी के मौसम में दोनों टोले के लोगों को पीने का पानी भी मुश्किल से मिल रहा है. मुखिया ने बताया कि बीते माह 28 अप्रैल को विभाग में आवेदन देकर दोनों टोले में पेयजल की समस्या को दूर करने के लिए बोरिंग कराने की मांग की गयी थी. लेकिन विभागीय उदासीनता से समस्या जस की तस बनी है. मुखिया ने पेयजल समस्या को दूर करने के लिए बोरिंग करा कर जलमीनार में कनेक्शन देने की मांग की. ज्ञात हो कि बहवारटोली में करीब 40 घर व नायकटोली में 200 से अधिक घर हैं. लेकिन दोनों टोले में पेयजल की समस्या है. मौके पर साल प्रधान, पेचो देवी, पेरवा देवी, बसंती खड़िया, बिरसो खड़ियाइन, रतन देवी, दशमी आइंद, कृष्णा लोहरा, प्रेमचंद उरांव, मोदो उरांव आदि मौजूद थे.
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