मुसाबनी : चार दिनों से हो रही लगातार बारिश ने सबर-बिरहोरों को परेशानी बढ़ा दी है. तीन दशक पूर्व बने जर्जर इंदिरा आवास बरसात में सबर और बिरहोरों के लिए मुसीबत बन गयी है. आवास की छत से पानी टपक रहा है. कई घरों की छतों के प्लास्टर झड़ कर गिर रहे हैं. आजजा बाहुल टुमांगकोचा के कई बिरहोर और सबरों के इंदिरा आवास ध्वस्त हो गये हैं. बिरहोर और सबर झोपड़ी बना कर रहे हैं. वर्षा के कारण रात में झोपड़ी की बजाय दूसरों के बरामदों में सबर और बिरहोर रात गुजारने पर विवश हैं.
टुमांगकोचा की सुकमनी बिरहोर, मीरू बिरहोर, बुद्धेश्वर बिरहोर समेत लगभग आधा दर्जन बिरहोर झोपड़ी में रहने को विवश हैं. बरसात में सांप- बिच्छू व बिषैले कीड़ों का डर इन्हें सताता है. लावकेशरा, मेढ़िया, सोशोगोड़ा, घीभांगा, तेलीमारा, छोलागोड़ा, बालीडुंगरी समेत कई गांवों के परिवार आवास की समस्या से जूझ रहे हैं. घीभांगा और तेलीमारा में सबरों के लिए बनाये जा रहे बिरसा आवास वर्षों से अधूरे हैं और सबर बरसात में परेशानी झेल रहे हैं.