दर्जनों सुरंगनुमा अवैध खदानों से निकल रहा सैकड़ों टन कोयला
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अवैध काेयला उत्खनन कर बंगाल के माफिया हो रहे लाल
दर्जनों सुरंगनुमा अवैध खदानों से निकल रहा सैकड़ों टन कोयला दुमका : शिकारीपाड़ा थाना क्षेत्र इन दिनों अवैध कोयला उत्खनन को लेकर सुर्खियों में है. इस क्षेत्र में दर्जनों अवैध तरिके से संचालित कोयला खदानों से रोजाना दर्जनों वाहन व बैलगाड़ियों से कोयला खपाया जा रहा है. जहां स्थानीय लोगों की मदद से कोयला माफिया […]
दुमका : शिकारीपाड़ा थाना क्षेत्र इन दिनों अवैध कोयला उत्खनन को लेकर सुर्खियों में है. इस क्षेत्र में दर्जनों अवैध तरिके से संचालित कोयला खदानों से रोजाना दर्जनों वाहन व बैलगाड़ियों से कोयला खपाया जा रहा है. जहां स्थानीय लोगों की मदद से कोयला माफिया कोयले का उत्खनन कराकर चांदी काट रहे हैं. वहीं लोकल प्रशासनिक व्यवस्था की मिलीभगत से भी इनकार नहीं किया जा सकता. जिस तरह से खुल्लेआम धंधा परवान पर चढ़ा हुआ है वो व्यवस्था की पोल खोलने के लिये काफी है. क्षेत्र के बादलपाड़ा, लुटियापहाड़ी, हीरापुर, कल्याणपुर आदि इलाकों में दर्जनों सुरंगनुमा व कुआनुमा खदान धड़ल्ले से संचालित हैं.
महज दो सौ रुपये के लिये जान जोखिम में डाल देते हैं लोग
मजदूरों के पलायन की समस्या जिले समेत राज्यभर में व्याप्त है. सरकार की ढेर सारी योजनाएं भी संचालित है. मगर इसका लाभ धरातल पर कुछ खास नहीं दिख रहा. आज भी लोग रोजगार की समस्या को लेकर पड़ोसी राज्य समेत देश के अन्य राज्यों में भटकने को मजबूर हैं. वहीं कुछ लोग रोजी-रोटी के लिये अपनी जान जोखिम में भी डालने से परहेज नहीं कर रहे. इलाके में धड़ल्ले से संचालित अवैध खदानों में महज दो रुपये की मजदूरी के लिये सुरंगनुमा खदान में प्रवेश कर जा रहे हैं. जहां उन्हें अपनी जान गंवानी पड़ जा रही है.
बोले पदाधिकारी
डीएसपी अशोक सिंह ने कहा कि इलाके में चल रहे खदानों के मामले को गंभीरता से लेते हुए छापेमारी की जा रही है. वहीं फॉरेस्ट विभाग को भी इलाके में चल रहे अवैध खदानों की सूची उपलब्ध कराने का लिखित आदेश दिया गया है. रिपोर्ट के आधार पर अग्रेतर कार्रवाई की जायेगी.
पड़ोसी राज्य समेत अन्य इलाकों में खपता है काला हीरा
हरिनसींगा, पंचवाहिनी, पकलुपाड़ा, बादलपाड़ा, लुटियापहाड़ी, हीरापुर व कल्याणपुर आदि क्षेत्रों में कुआं जैसी सुरंगनुमा दर्जनों खदानों से कोयला उत्खनन कर बंगाल के माफिया कोयला को बाइक, साइकिल, बैलगाड़ी, तिपहिया वाहन समेत अन्य वाहनों से स्थानीय ईंट भट्टों के अलावा सीमावर्ती राज्य में खपाते हैं और लाखों की उगाही करते हैं.
बंगाल के सीमावर्ती क्षेत्रों में डंप होता है कोयला
हरिनसींगा, पंचवाहिनी, पकलुपाड़ा आदि जगहों पर अवैध रूप से संचालित खदानों से कोयला पाकदहा, कजलादहा के रास्ते सीधे पश्चिम बंगाल भेजा जाता है. वहीं बादलपाड़ा, लुटियापहाड़ी, हीरापुर, कल्याणपुर आदि क्षेत्र में कुआं जैसी सुरंगनुमा दर्जनों खदानों से कोयला उत्खनन कर बांसपहाड़ी होते हुए पश्चिम बंगाल के सीमावर्ती क्षेत्र ठाकुरपुरा, शालबदरा आदि जगहों पर डंप कर ट्रकों के माध्यम से पश्चिम बंगाल के विभन्न क्षेत्र में खपाया जाता है.
खदान धंसने से दो की हो चुकी है मौत
थाना क्षेत्र में अवैध रूप से संचालित कोयला खदान के चाल धंसने से विगत कुछ दिन पूर्व लुटियापहाड़ी के 22 वर्षीय रहमान अंसारी तथा 33 वर्षीय आबुल हुसैन अपनी जान गवां चुके हैं. जबकि मामले में एक अन्य व्यक्ति भी घायल हो गया था. घटना के बाद ही अवैध कोयला उत्खन्न मामले में पुलिस ने कार्रवाई करते हुए आठ लोगों को शिकारीपाड़ा थाना में नामजद बनाया था. वहीं पकलुपाड़ा स्थित अवैध कोयला खदान के पास से कोयला ले जाने के लिए रखी 13 बाइक समेत अन्य सामग्री भी जब्त की. मगर सूत्रों की माने तो अब भी माफिया बेखौफ होकर धंधे में जुटे हुए हैं.
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