सीवान : फर्जी भाई बनकर एक संवासिनी को अल्पावास गृह से ले जाने आये एक युवक को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है. जांच में उसकी ओर से दिया गया आधार कार्ड भी फर्जी पाया गया है. दरअसल इस पूरे मामला का खुलासा तब हुआ, जब संवासिनी ने भाई बनकर आये युवक को पहचानने से इन्कार कर दिया. जानकारी के अनुसार ऑर्केस्ट्रा में कार्य करने वाली एक संवासिनी को कोर्ट ने परिजनों के साथ घर जाने की अनुमति दी है.
कोर्ट के आदेश पर एक युवक अल्पावास में रहने वाली संवासिनी को लेने के लिए उसका भाई बनकर पहुंच गया. लेकिन जब संवासिनी को सामने लाया गया तो उसने युवक को पहचानने से इन्कार कर दिया. इसके बाद अल्पावास गृह के सचिवऔर प्रशिक्षण सह पुनर्वास पदाधिकारी ने नगर थाने को सूचना दी. सूचना पर पहुंची पुलिस के समक्ष युवक द्वारा दिये गये आधार कार्ड की जांच की गयी तो वह फर्जी निकला. इस पर पुलिस ने भगवानपुर हाट निवासी युवक पर प्राथमिकी दर्ज करते हुए गिरफ्तार कर जेल भेज दिया.
ज्ञात हो कि भगवानपुर हाट थाने की पुलिस ने क्षेत्र में ऑर्केस्ट्रा संचालकों के यहां छापेमारी की थी. इस दौरान पश्चिम बंगाल के सियालदह जिले के सियालदह निवासी एक युवती को पकड़ा गया था, जिसे पूछताछ के बाद आल्पावास गृह भेज दिया गया. इधर कोर्ट ने सुनवायी के बाद युवती को उसके घर जाने की अनुमति दे दी.
कोर्ट ने प्रशिक्षण सह पुनर्वास पदाधिकारी प्रीति कुमारी को निर्देश दिया कि संवासिनी को उसके परिजनों के साथ भेज दिया जाये. इसकी जानकारी मिलने पर भगवानपुर हाट निवासी अंगद मांझी का पुत्र भीम मांझी अपने एक दोस्त के साथ अल्पावास गृह पहुंचा. उसने अपने आप को युवती का भाई बताते हुए उसे ले जाने की बात कही. इस पर पदाधिकारियों ने आधार कार्ड की मांग करते हुए युवती को बुलया. युवती नीचे उतरने के बाद अपने भाई को खोजने लगी. उसके द्वारा युवक को नहीं पहचानने जाने पर शक हुआ इसके बाद उसके आधार कार्ड की जांच करायी गयी तो फर्जी निकला.