फोटो- 29 रात्रि में जेसीबी से कराया जा रहा सड़क निर्माण कार्य
सुरसंड.
एक ओर सरकार जहां किसानों के हित में नदी की उड़ाही कर सिंचाई सुविधा उपलब्ध कराने का प्रयास कर रही है. तो दूसरी ओर नदी को भरकर सड़क बनाने का कार्य किया जा रहा है. मामला प्रखंड अंतर्गत मलाही पंचायत के वीरपुर गांव है. जहां मनरेगा के तहत चल रहे सड़क निर्माण को लेकर विवाद उत्पन्न हो गया है. इस संबंध में ग्रामीणों ने सीओ को आवेदन देकर मरहा नदी को भरकर सड़क बनाने का आरोप लगाया है. साथ ही नदी को भर देने से किसानों के समक्ष कृषि कार्य को ले जल संकट की समस्या उत्पन्न होने की बात कही जा रही है. ग्रामीणों ने बताया कि यदि मरहा नदी की उड़ाही कर दी जाए, तो कई गांवों के किसानों को फसल की सिंचाई करने में सुविधा होगी. इसी बात को लेकर लोगों ने कार्यस्थल पर जाकर विरोध जताया व निर्माण कार्य पर रोक लगाने की मांग की. लोगों का आरोप है कि मनरेगा योजना के तहत मजदूरों से कार्य करवाने के बजाय रात के अंधेरे में जेसीबी मशीन का उपयोग किया जा रहा था. इसके लिए बनौली पंचायत के मुखिया प्रतिनिधि राकेश साह पर कार्य में धांधली का आरोप लगाते हुए सीओ को आवेदन देकर हस्तक्षेप की मांग की. सीओ सतीश कुमार ने त्वरित कार्रवाई करते हुए राजस्व कर्मचारी को भेजकर काम पर रोक लगाते हुए जांच के निर्देश दिए हैं. मनरेगा पीओ प्रेम कुमार ने भी संबंधित जेई को कार्य बंद कराने का आदेश दिया है. उन्होंने बताया कि मनरेगा योजना में जेसीबी का उपयोग पूर्णरूपेण प्रतिबंधित है. उन्होंने मास्टर रोल को भी शून्य करने का निर्देश दिया है. इस बाबत मनरेगा के जेइ रजनीश कुमार ने बताया कि उक्त योजना का स्टीमेट नहीं बना है. बगैर विभागीय स्वीकृति का कार्य किया जा रहा है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

