सहरसा(सिमरी) प्रतिनिधि : पूर्व मध्य रेलवे अंतर्गत सहरसा-मानसी रेलखंड के सिमरी बख्तियारपुर-कोपरिया रेलवे स्टेशन के बीच गोरगामा ढाला के निकट कटिहार-जयनगर जानकी एक्सप्रेस ट्रेन गुरुवार की सुबह बड़ी दुघर्टना होने से बाल-बाल बच गयी. ग्रामीणों ने बताया कि जानकी से पहले 18697 पूर्णिया कोर्ट-पटना कोसी और 05522 सहरसा-जमालपुर पैसेंजर भी टूटी पटरी से पास हुई थी. हालांकि कोई दुर्घटना नहीं हुआ.
ग्रामीणों के अनुसार गोरगामा रेलवे ढाला के निकट पुल संख्या 42 के पास गुरुवार की सुबह स्थानीय लोग शौच करने के लिए रेलवे लाइन के पास जैसे ही पहुंचे कि ग्रामीणों की नजर रेलखंड के 22/1 किलोमीटर के पास रेलवे की टूटी पटरी पर पड़ी. कुछ ही मिनटों में टूटी पटरी की खबर गांव में आग की तरह फैल गयी और देखते ही देखते ग्रामीणों की भीड़ टूटी रेल पटरी के किनारे जमा हो गयी. संयोग से उसी समय सिमरी बख्तियारपुर स्टेशन से जानकी एक्सप्रेस मानसी के लिए रवाना हुई और फर्राटेदार स्पीड में ट्रेन गोरगामा ढाला के पास पहुंच गयी.
इधर, ट्रेन की आवाज सुन ग्रामीणों की नजर आते ट्रेन पर पड़ी. इसके बाद ग्रामीणों ने कुछ दूर पहले ही ट्रेन को रुकवाने का काफी प्रयास किया. लेकिन ड्राइवर द्वारा ट्रेन रोकना तो दूर स्पीड भी कम नहीं की जा रही थी. इस दौरान ग्रामीणों ने लाल और केसरिया चड्डी-बनियान भी ड्राइवर को दिखाया. लेकिन फिर भी कोई फायदा नहीं हुआ. इसी बीच ग्रामीणों की ट्रेन रुकवाने की शोर की-मैन को सुनाई पड़ी. इसके बाद दौड़ते व फिसलते की-मैन पटरी पर पहुंचा और लाल झंडी दिखाना शुरू किया. इसके बाद ड्राइवर ने टूटी पटरी से कुछ दूर पहले इमरजेंसी ब्रेक लगा कर ट्रेन को रोका. इससे ग्रामीणों ने राहत भरी सांस ली.
ट्रेन रुकने के बाद की-मैन ने रेलवे के अधिकारी को सारी वस्तुस्थिति से अवगत कराया. इसके बाद सीनियर सेक्शन इंजीनियर राकेश कुमार, पीडब्लूआइ अजय कुमार दल बल के साथ तेज बारिश में गोरगामा पहुंचे. करीब एक घंटे की मशक्कत के बाद टूटी पटरी को क्लिपींग कर जानकी एक्सप्रेस को आगे बढ़ाया गया.