डेहरी नगर : डेहरी अनुमंडल न्यायालय में शुक्रवार को पटना हाइकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश एपी साही के आगमन के कारण अनुमंडल प्रशासन व नगर पर्षद के कार्यपालक पदाधिकारी सुशील कुमार के नेतृत्व में आनन-फानन में थाना चौक से अनुमंडल कोर्ट तक जाने वाले रास्ते के अगल-बगल के अतिक्रमण हो हटाया गया. यह कार्रवाई भी बस दिखावे भर के लिए थी. इसमें मुख्य रूप से बड़े अतिक्रमनकारियों को नहीं हटाया गया.
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मुख्य न्यायाधीश के आगमन से पहले हटाया अतिक्रमण
डेहरी नगर : डेहरी अनुमंडल न्यायालय में शुक्रवार को पटना हाइकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश एपी साही के आगमन के कारण अनुमंडल प्रशासन व नगर पर्षद के कार्यपालक पदाधिकारी सुशील कुमार के नेतृत्व में आनन-फानन में थाना चौक से अनुमंडल कोर्ट तक जाने वाले रास्ते के अगल-बगल के अतिक्रमण हो हटाया गया. यह कार्रवाई भी बस […]
रोड के किनारे छोटे-मोटे अतिक्रमणकारियों को ही हटाया गया, क्योंकि मुख्य न्यायाधीश इसी रास्ते से गुजरने वाले हैं. हालांकि, लोगों ने नगर पर्षद व पुलिस प्रशासन पर अतिक्रमण हटाये जाने से पहले सूचना नहीं देने का आरोप लगाया.
लोगों ने कहा कि 24 घंटा पहले हमें सूचना मिलती, तो हम अपनी व्यवस्था कर लेते. हम घर से बेघर नहीं होते. हमें हमारे सामान हटाने का भी मौका नहीं दिया गया. अतिक्रमण के खिलाफ गुरुवार को कार्रवाई के समय सीओ गुलाम साहिद, इओ सुशील कुमार, नगर पर्षद के सिटी मैनेजर मनोज भारती, नप के कर्मचारी मिथिलेश कुमार, सुधीर कुमार, राहुल कुमार व डेहरी नगर थाना प्रभारी कामाख्या नारायण सिंह महिला पुलिस बल के साथ मौके पर सभी मौजूद थे.
आज डेहरी बार एसोसिएशन में मुख्य न्यायाधीश का होगा स्वागत
डेहरी नगर. डेहरी अनुमंडल बार एसोसिएशन द्वारा पटना हाइकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश एपी साही का स्वागत किया जायेगा. अध्यक्ष उमाशंकर पांडे ने बताया कि मुख्य न्यायाधीश का एक स्वागत समारोह वार द्वारा रखा गया है.
उनका स्वागत भव्य रूप से किया जायेगा. इसकी तैयारी पूरी कर ली गयी है और जो भी बार एसोसिएशन की समस्या होगी उनसे साझा किया जायेगा और अपनी समस्याओं की मांग रखी जायेगी. मुख्य न्यायाधीश न्यायालय के जमीन की निरीक्षण करने आ रहे है. जल्दी उसका भी फायदा डेहरी अनुमंडल न्यायालय को होगा.
छह दिन के बच्चे के साथ मां हुई बेघर
डेहरी नगर : छह दिन के मासूम बच्चे के साथ सड़क किनारे अपनी झोंपड़ी में सो रही मां को बच्चे के साथ घर बेघर होना पड़ा. अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई में 20 वर्ष से झोंपड़ी बना कर रह रही सपना देवी को इस चिलचिलाती धूप में छह दिन के मासूम बच्चे के साथ अपना घर छोड़ सड़क पर आना पड़ा. सपना देवी की मां ने बताया कि अभी छह दिन पहले ही मेरी बेटी ने एक बच्चे को इसी झोंपड़ी में जन्म दिया और आज हमें बेघर कर दिया गया. मैं जाऊं तो कहां जाऊं. प्रशासन द्वारा हटा तो दिया गया, लेकिन मैं गरीब हूं कहां जाऊंगी.
मेरा बेटा भी बाहर मजदूरी करता है. कोई सहारा नहीं है. दुर्गा कुमारी, मुन्नी खातून, गोविंद भैया, सपना देवी आदि ने बताया कि हम लोग सड़क के किनारे 20 वर्षों से रह रहे है. आज तक प्रशासन ने नहीं हटाया और न ही हमें प्रशासन द्वारा कोई भी सूचना दी गयी कि आप अपना घर खाली कर लीजिए. अधिकारियों ने हमें अपना सामान तक निकालने का मौका नहीं दिया और हमारे घर पर बुलडोजर चला दिया. हम अब अपना समान लेकर सड़क पर बेसहारा की तरह है हमारा कोई ठिकाना नहीं है.
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