पूर्णिया. समाहरणालय परिसर स्थित सामुदायिक भवन में मंगलवार को जिला मानवाधिकार संरक्षण प्रतिष्ठान ने अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार दिवस मनाया. इसकी अध्यक्षता प्रतिष्ठान के अध्यक्ष एनएन मिश्रा ने की. इस अवसर पर उन्होंने कहा कि 10 दिसंबर 1948 को संयुक्त राष्ट्र संघ में मानव अधिकारों की सार्वभौम घोषणा को अंगीकार और उद्घोषित किया था. मानव अधिकार मूल रूप से हर व्यक्ति को उसके लिंग, जाति, पंथ, धर्म, राष्ट्र स्थान या आर्थिक स्थिति की परवाह किए बिना दिये गये हैं. एनएन मिश्रा ने कहा कि मानव अधिकार में जो मानदंड है वह मानव व्यवहार के मानकों को स्पष्ट करते हैं. मानव अधिकार जीवन स्वतंत्रता समानता और व्यक्ति की गरिमा संबंधित अधिकार भी है. संविधान के अनुच्छेद 14 से 32 तक जो मौलिक अधिकार हैं. वह मानव के अधिकार से संबंधित हैं. आज मानवाधिकार का हनन में बढ़ोतरी दुखद है और इस पर कार्रवाई भी बहुत धीमी गति से हो रही है. जो मानवाधिकार पर प्रहार करने जैसा है. आज के दिन यह शपथ लेने की भी आवश्यकता है कि ज्यादा से ज्यादा लोगों तक मानवाधिकार की प्रति जागरूकता उत्पन्न की जाये. मौके पर संस्थान के अध्यक्ष एन एन मिश्रा, दिलीप कुमार दीपक, अंजली श्रीवास्तव, मनोज झा, अरुणाभ भास्कर, संजीव कुमार, अमित कुमार आदि के साथ बड़ी संख्या में लोग उपस्थित थे. फोटो 10 पूर्णिया 7- मौके पर मौजूद संस्थान के अध्यक्ष एवं अन्य
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