संवाददाता, पटना : चेन, मोबाइल फोन, पर्स, बैग आदि की स्नैचिंग अब गंभीर और गैर जमानतीय अपराध माना जायेगा. भारतीय न्याय संहिता में पहली बार स्नैचिंग को नये अपराध की कैटेगरी में शामिल किया गया है. पहले जहां चेन या मोबाइल स्नैचिंग होने पर पुलिस 379 और 356 धारा लगाती थी. मसलन स्नैचिंग अलग तरह का अपराध नहीं था. लेकिन अब स्नैचिंग के केस 304 (1) के तहत दर्ज किये जायेंगे. पहले आराम से इस केस में जमानत मिल जाती थी. साथ ही समझौता योग्य भी था. लेकिन अब इसमें समझौता कर केस खत्म नहीं किया जा सकता है. साथ ही अगर किसी तरह का सामान छीनने के समय पीड़ित को चोट लग जाती है, तो पुलिस हत्या के प्रयास की धारा भी जोड़ सकती है. इससे जमानत में काफी परेशानी हो जायेगी. सिटी एसपी मध्य व ग्रामीण ने बताया कि अब जो भी एफआइआर दर्ज होगी, वह नयी धाराओं के तहत होगी.
बाइक चोरी अब संगठित अपराध
बाइक चोरी में पहले 379 में केस दर्ज होने के कारण चोरों को आसानी से जमानत मिल जाती थी. इसके बाद जेल से छूट कर फिर से चोरी करने लग जाते थे. लेकिन अब भारतीय न्याय संहिता में इसे संगठित अपराध माना गया है. अगर बाइक चोरी करते हुए एक व्यक्ति को भी पकड़ा जाता है तो उसे भी संगठित गिरोह का हिस्सा माना जायेगा, क्योंकि वह बाइक चोरी करता है, फिर उसे बेचता है. इसमें एक से अधिक लोग शामिल रहते हैं. अब बाइक चोरी का केस धारा 303 (2) के तहत दर्ज किया जायेगा. यह गैर जमानती है.पटना के 4000 पुलिस कर्मियों को मिली ट्रेनिंग
सिटी एसपी मध्य चंद्रप्रकाश व एसपी ग्रामीण रौशन कुमार ने सोमवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि पटना जिले के चार हजार पुलिसकर्मियों को तीन नये कानूनों के लिए ट्रेनिंग दी गयी है. साथ ही सोमवार को जिले के सभी थानों में पुलिस पदाधिकारियों व आम लोगों की बैठक हुई. इस दौरान सभी को नये कानूनों के संबंध में बताया गया. इसके अलावा सभी थानों में नये कानूनों के तहत बदली हुई धाराएं और उनके तहत किस तरह का करना है, उसकी पूरी डिटेल एक फाइल में बना कर रखी गयी है.क्या
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