पटना : बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी को वरिष्ठ आइएएस अधिकारी चंचल कुमार ने बिहार कर्मचारी चयन आयोग के अध्यक्ष सुधीर कुमार की गिरफ्तारी में भूमिका निभाने को लेकर अपने खिलाफ दिए गए बयान को लेकर कानूनी नोटिस भेजा है. हालांकि चंचल कुमार ने इस बारे में कुछ कहने से इनकार किया पर मांझी ने इसकी पुष्टि की कि चंचल कुमार ने उन्हें तीन दिनों पूर्व कानूनी नोटिस भेजा है.
मांझी ने कहा कि कानूनी नोटिस भेजने वाले अधिकारी ने उनके द्वारा हाल में जारी की गयी एक प्रेस विज्ञप्ति पर आपत्ति जतायी है. राजग में भाजपा के सहयोगी दल हिंदुस्तानी अवाम मोचा (हम) सेक्युलर के अध्यक्ष जीतन राम मांझी ने कहा कि उन्होंने यह बयान उनसे मिलने आए लोगों द्वारा उपलब्ध करायी गयी जानकारी के आधार पर दिया था.
बिहार कर्मचारी चयन आयोग (बीएसएससी) के लिपिक संवर्ग की परीक्षा प्रश्न पत्र लीक मामले में गिरफ्तार बीएसएससी अध्यक्ष तथा वर्ष 1987 बैच के आइएएस अधिकारी सुधीर कुमार का जोरदार बचाव करने वाले मांझी ने अपने मुख्यमंत्रित्व काल में सुधीर को गृह विभाग का प्रधानसचिव नियुक्त किया था.
जीतन राम मांझी ने यह आरोप लगाया था कि सुधीर के दलित पृष्ठभूमि के कारण उन्हें प्रश्नपत्र लीक मामले में फंसाया गया है. इस बीच भाजपा के वरिष्ठ नेता सुशील कुमार मोदी ने कहा कि नौकरशाह द्वारा राजनेताओं को कानूनी नोटिस भेजा जाना अच्छी परंपरा नहीं है. इससे पूर्व मद्य निषेध एवं उत्पाद विभाग के प्रधानसचिव के के पाठक ने उन्हें कानूनी नोटिस भेजा था. बिहार विधान परिषद में प्रतिपक्ष के नेता सुशील ने कहा कि बेहतर होगा कि इस पर रोक लगे.