32.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Trending Tags:

Advertisement

वोट चाहिए, लेकिन वोटर बनाने में सुस्त

पटना: विधानसभा का चुनाव सिर पर है और इसके लिए तैयार होने का दावा करनेवाले राजनीतिक दल खुद चुनाव प्रक्रिया से बेखबर हैं. चुनाव आयोग ने सभी राजनीतिक दलों को चुनाव के पहले तक बूथ लेवल एजेंट की बहाली कर लेना का सुझाव दिया था. प्रदेश के 243 विधानसभा क्षेत्रों में 62779 मतदान केंद्र हैं. […]

पटना: विधानसभा का चुनाव सिर पर है और इसके लिए तैयार होने का दावा करनेवाले राजनीतिक दल खुद चुनाव प्रक्रिया से बेखबर हैं. चुनाव आयोग ने सभी राजनीतिक दलों को चुनाव के पहले तक बूथ लेवल एजेंट की बहाली कर लेना का सुझाव दिया था. प्रदेश के 243 विधानसभा क्षेत्रों में 62779 मतदान केंद्र हैं.

सब पर सभी दलों को एक-एक बीएलए की बहाली करनी है. लेकिन, अब तक किसी भी दल ने 12 हजार से अधिक बीएलए की नियुक्ति नहीं की है. यह अलग बात है कि राजनीतिक दलों में सबसे रेस राजद है. उसने सबसे अधिक 12161 बूथ पर बीएलए की नियुक्ति कर चुनाव कार्यालय को इसकी जानकारी दी है. 12031 बीएलए की नियुक्ति कर भाजपा दूसरे नंबर पर है. मतदाता सूची में गड़बड़ी, नाम नहीं होने आदि में सुधार की जिम्मेवारी इन्हीं बीएलए की होती है. ऐसे में महज 20 प्रतिशत बीएलए की नियुक्ति से निर्वाचन कार्यालय भी परेशान है.

चुनाव से जुड़े पदाधिकारियों का मानना है कि वोटरलिस्ट में गड़बड़ी होने या नाम छूटने पर राजनीतिक दल के नेता हाय-तौबा मचा देते हैं. जिलाधिकारी से लेकर भारत निर्वाचन आयोग तक शिकायतों की फेहरिस्त लगा देते हैं. जब चुनाव के पहले चरण की तैयारी की बारी आती है, तो राजनीतिक दलों की निष्क्रियता चौंकानेवाली बात है. चाहे वह आयोग द्वारा बुलायी गयी बैठक में भागीदारी की बात हो या बूथ लेवल एजेंट (बीएलए) की नियुक्ति का मामला हो. राज्य की मतदाता सूची के प्रारूप का प्रकाशन 15 मई को किया गया था. यह विधानसभा चुनाव के मद्देनजर संक्षिप्त पुनरीक्षण अभियान चलाया गया है.

राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों के साथ बैठक में एक राष्ट्रीय दल और दो महत्वपूर्ण राज्यस्तरीय राजनीतिक दलों के प्रतिनिधि शामिल नहीं हुए. सूची को लेकर आहूत बैठक में कांग्रेस के सात सत्तारूढ़ जदयू व राजद के प्रतिनिधि अनुपस्थित रहे हैं. भारत निर्वाचन आयोग ने मतदाता सूची की तैयारी में सभी मान्यता प्राप्त राजनीतिक दल को यह अधिकार दिया गया है वह अपने कार्यकर्ताओं के बीच से हर बूथ पर एक एजेंट की बहाली करे. जिस बूथ पर एजेंट (बीएलए) की बहाली की जा रही है, उसकी सूची मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी के कार्यालय या जिलाधिकारी कार्यालय को उपलब्ध करावे.

बीएलए को बूथ लेवल ऑफिसर के साथ मिल कर मतदाता सूची के लिए आवेदन जमा करने का अधिकार दिया गया है. यह अपेक्षा की गयी है कि राजनीतिक दल सक्रिय भागीदारी निभा कर हर बूथ की मतदाता सूची को त्रुटि रहित बना दे. किसी भी योग्य मतदाता का नाम सूची में दर्ज होने से वंचित नहीं रह जाये. ऐसा नहीं हो कि जब सूची में नाम जोड़ने का वक्त समाप्त हो जाये और मतदान के दिन सूची को लेकर ही आपत्ति जतायी जाये. मतदान के दिन अक्सर राजनीतिक दलों द्वारा गलत नाम आने, सूची में उनके समर्थकों का नाम हटाने या अन्य तरह की शिकायत की जाती है.

राज्य में कुल 62779 बूथों की स्थापना की गयी है. इसमें ग्रामीण क्षेत्र 55507 और शहरी क्षेत्र में 7272 बूथों की स्थापना की गयी है. सबसे अधिक राष्ट्रीय जनता दल की ओर 12162 बूथों पर बीएलए की नियुक्ति की गयी है. दूसरे स्थान पर भाजपा है, जिसने 12031 बूथों पर ही अपने बीएल नियुक्त किया है. जनता दल यूनाइटेड की ओर से अभी तक 6705 बूथों पर, लोजपा द्वारा 3077 बूथों पर, कांग्रेस द्वारा 2826 बूथों पर, एनसीपी द्वारा 659 बूथों पर, सीपीआइ द्वारा 968 बूथों पर, बसपा द्वारा 705 बूथों पर, राष्ट्रीय लोक समता पार्टी द्वारा एक बूथ पर, जबकि माकपा द्वारा तो एक भी बूथ पर बीएलए की नियुक्ति नहीं की गयी है.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें