ट्रेनिंग प्रोग्राम में निजी स्कूल भी शामिल, पटना, पूर्णिया, कटिहार और बेगूसराय से शुरुआत
पटना : किसी भी प्रकार की आपदा आने पर उस क्षेत्र के विद्यार्थी रक्षक की भूमिका निभायेंगे. आपदा प्रभावित लोगों की जिंदगी बचाने को बचाव कार्य करेंगे. पुलिस महानिदेशक सह असैनिक सुरक्षा आयुक्त ने नागरिक सुरक्षा इकाइयों को अपने-अपने जिले में विद्यार्थियों को नागरिक सुरक्षा में सहयोग के लिए प्रशिक्षित करने का टास्क दिया है. राज्य के कई जिले बाढ़ से ग्रस्त हैं. इसमें अब तक 124 से अधिक लोगों की मौत हो गयी है.
नागरिक सुरक्षा निदेशालय का मानना है कि लोगों में आपदा को लेकर जागरूकता आ जाये. आपदा आने पर क्या करें, क्या न करें की समझ विकसित कर दी जाये. इससे नुकसान को काफी कम किया जा सकता है. निदेशालय ने आपदा से बचाव के लिए विद्यार्थियों को ट्रेनिंग देने की योजना तैयार की है. विद्यालय और महाविद्यालयों में प्रशिक्षण का आयोजन किया जायेगा. इसमें निजी स्कूल भी शामिल किये जायेंगे. प्रशिक्षण निरंतर चलाया जायेगा.
चार नागरिक सुरक्षा स्वयंसेवकों का होगा चयन
इसकी शुरुआत इसी माह पटना, पूर्णिया, कटिहार और बेगूसराय से हो रही है. ट्रेनिंग को इन जिलों में चार नागरिक सुरक्षा स्वयंसेवकों का चयन किया जायेगा. इनका चयन उपनियंत्रक या अनुदेशक नागरिक सुरक्षा करेंगे.
एनसीडीसी नागपुर अथवा आपदा प्रबंधन से जुड़े अन्य अखिल भारतीय प्रशिक्षण संस्थानाें से प्रशिक्षित स्वयं सेवकों को प्राथमिकता दी जायेगी. हर माह कम से कम एक विद्यालय-महाविद्यालय में नागरिक सुरक्षा के प्रशिक्षण कार्यक्रम का शेड्यूल देने के निर्देश भी दिये गये है. व्यापक जन सहभागिता को ध्यान में रखकर ग्राम पंचायत, प्रखंड, थाना स्तर पर भी प्रशिक्षण और जनजागरूकता कार्यक्रम आयोजित किये जायेंगे.
प्रशिक्षण के बाद फीडबैक लिया जायेगा
विद्यालय-महाविद्यालय में प्रशिक्षण आयोजन के संबंध में जिलाधिकारी सह नियंत्रक नागरिक सुरक्षा को पत्र भेज दिया गया है. प्रशिक्षण के बाद इसमें भाग लेने वालों का फीडबैक भी लिया जायेगा. प्रशिक्षण की फोटो और वीडियोग्राफी नागरिक सुरक्षा निदेशालय को उपलब्ध कराने के भी निर्देश दिये गये हैं.
अरविंद पांडेय, डीजी सह असैनिक सुरक्षा आयुक्त