कर्मियों को ट्रेंड करने में विभाग
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अब कालाजार से मिलेगी मुक्ति
कर्मियों को ट्रेंड करने में विभाग केटीएस ग्रामीणों को देंगे छिड़काव की जानकारी बिहारशरीफ : कालाजार की रोकथाम के लिए जिले में डीडीटी का छिड़काव किया जायेगा. छिड़काव जिले के कालाजार प्रभावित प्रखंडों में चयनित गांवों में किया जायेगा. इसकी विभागीय तौर पर तैयारी शुरू कर दी गई है. अभियान को सफल बनाने के लिए […]
केटीएस ग्रामीणों को देंगे छिड़काव की जानकारी
बिहारशरीफ : कालाजार की रोकथाम के लिए जिले में डीडीटी का छिड़काव किया जायेगा. छिड़काव जिले के कालाजार प्रभावित प्रखंडों में चयनित गांवों में किया जायेगा. इसकी विभागीय तौर पर तैयारी शुरू कर दी गई है. अभियान को सफल बनाने के लिए जिला मलेरिया विभाग ने कर्मियों को ट्रेंड करने में जुटा है. सोमवार को जिला मलेरिया विभाग के कार्यालय में जिले के कालाजार तकनीकी पर्यवेक्षकों (केटीएस) को डीडीटी छिड़काव की सफलता के टिप्स बताये गये.
दस मार्च से होगा छिड़काव : कालाजार की रोकथाम एवं इस बीमारी से बचाव के लिए जिले में दस मार्च से डीडीटी का छिड़काव अभियान चलाया जायेगा. छिड़काव के लिए प्रखंड स्तर से लेकर जिला स्तर तक माइक्रो प्लान बनाया जा रहा है. इसी प्लान के तहत संबंधित क्षेत्रों में डीडीटी का छिड़काव किया जाना है.
जिले के 12 प्रखंडों में डीडीटी का छिड़काव तिथिवार किया जायेगा. छिड़काव के लिए सदर प्रखंड बिहारशरीफ, इस्लामपुर, नगरनौसा, चंडी समेत 12 प्रखंडों का चयन किया गया है. इन चयनित प्रखंडों के चिह्नित गांवों में माइक्रो प्लान के तहत डीडीटी का छिड़काव किया जायेगा.
जिला मलेरिया पदाधिकारी डाॅ रमेश कुमार सिन्हा ने कालाजार तकनीकी पर्यवेक्षकों को अभियान की सफलता की अहम जिम्मेवारी दी. एक-एक केटीएस को दो-दो प्रखंडों की निगरानी करने को कहा है. केटीएस को हिदायत दी गयी कि अभियान के दौरान होनेवाले छिड़काव की जानकारी संबंधित गांवों के ग्रामीणों को दे. ताकि जागरूक होकर ग्रामीण लोग अभियान के दौरान अपने-अपने घरों में डीडीटी का छिड़काव अवश्य कराएं.
जिले में मात्र छह हैं केटीएस
नालंदा जिले में कुल बीस प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र संचालित हैं. लेकिन, जिला मलेरिया विभाग के अंतर्गत मात्र छह प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में ही कालाजार तकनीकी पर्यवेक्षक (केटीएस) ही तैनात हैं. कालाजार की रोक थाम के लिए मार्च माह में 12 प्रखंडों में डीडीटी का छिड़काव किया जाना है. पर सरकार की ओर से मात्र छह प्रखंडों में ही केटीएस के पद स्वीकृत हैं. इस तरह एक केटीएस को दो या तीन प्रखंडों की अहम जिम्मेवारी संभालनी पड़ रही है.
इन प्रखंडों में हैं केटीएस
जिले के करायपरशुराय, नगरनौसा, सदर प्रखंड बिहारशरीफ, सिलाव, हरनौत व बेन प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में कालाजार तकनीकी पर्यवेक्षक पदस्थापित हैं. केटीएस कालाजार से बचाव के लिए लोगों को जानकारी देने का काम करते हैं. सरकार की योजनाओं से ग्रामीणों को अवगत कराने का भी अहम कार्य करते हैं. संदिग्ध कालाजार के मरीजों की पहचान होने पर चिकित्सा के लिए प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र भेजने की अहम जिम्मेवारी केटीएस को होती है. जिला मलेरिया पदाधिकारी डाॅ सिन्हा ने केटीएस को टास्क दिया है कि माइक्रो प्लान के तहत होनेवाले छिड़काव अभियान को पूरी तरह से सफल बनाने में जुट जायें.
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