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चांदनी चौक इलाके में डीआरआइ ने की छापेमारी, पटना से बेतिया जा रही थी बस चार लाख रुपये के जाली नोट पकड़े
मुजफ्फरपुर: ब्रह्मपुरा थाना के चांदनी चौक पुल के समीप डीआरआइ की टीम ने बस में छापेमारी कर चार लाख जाली नोट के साथ एक युवक को पकड़ा है. युवक जाली नोट की खेप लेकर बेतिया जा रहा था. उसने पूछताछ में सरगना के नाम का भी खुलासा किया है. टीम मालदा में सरगना के ठिकानों […]
मुजफ्फरपुर: ब्रह्मपुरा थाना के चांदनी चौक पुल के समीप डीआरआइ की टीम ने बस में छापेमारी कर चार लाख जाली नोट के साथ एक युवक को पकड़ा है. युवक जाली नोट की खेप लेकर बेतिया जा रहा था. उसने पूछताछ में सरगना के नाम का भी खुलासा किया है. टीम मालदा में सरगना के ठिकानों की तलाश में जुट गयी है. मुजफ्फरपुर डीआरआइ को जाली नोट की खेप ले जाने की सूचना मिली थी.
इसी पर चांदनी चौक के पास छापेमारी कर रही थी. पटना से बेतिया जानेवाली बस (मां भगवती ट्रैवेल्स) में टीम के सदस्यों ने तलाशी ली. इस दौरान एक युवक के पास से चार लाख रुपये जाली नोट बरामद हुआ. पूछताछ में युवक ने अपना नाम वरकत अली बताया है. वरकत पश्चिम बंगाल के मालदा जिले के शैयब अली टोला का रहने वाला है.
जांघ व पैर में बांधे था चार बंडल
वरकत जाली नोट चार बंडल अपने जांघ व पैर में बेल्ट से बांधे हुए था. पहली बार की जांच में वह बच गया, लेकिन टीम के एक सदस्य को उसके हरकत पर शंका हुई. दुबारा उसकी जांच की गयी, तो जांघ व पैर में बंधे चार लाख के जाली नोट बरामद हुये. वह लुंगी पहने हुये था. सभी नोट हजार रुपये के थे. पहली नजर में नोट कहीं से जाली नहीं लग रहे थे. बारीकी से इसकी जांच की गयी तो, सभी नोट जाली साबित हुये.
बेतिया में देनी थी डिलिवरी
जाली नोट बेतिया के किसी व्यक्ति को सौंपना था. वह मालदा से पटना तक ट्रेन से आया था. उसके पास से मिले टिकट से इसका खुलासा हुआ है. पटना से बेतिया जाने के लिए उसने बस पकड़ था. बस में लुंगी पहन कर बैठा था, ताकि उस पर किसी को शक न हो. बरकत ने जाली नोट के तस्कर के नाम का भी खुलासा कर दिया है. सरगना ने उसे बेतिया में डिलिवरी लेने वाले का नाम नहीं बताया था. उसे यह बताया गया था कि बेतिया पहुंचने पर पार्टी उससे संपर्क कर लेगी. पार्टी को वरकत का नंबर दिया गया था.
बंगलादेश से आया था जाली नोट
जाली नोट के बंगलादेश से आने का भी खुलासा हो गया है. वरकत बंगलादेश के अखबार में लपेट कर नोट के बंडल को अपने पैर में बांध रखा था. पूछताछ में उसने सरगना का संबंध बंगलादेशी तस्करों से होने की बात भी स्वीकारी है.
अलीयाचक से होती है तस्करी: पश्चिम बंगाल के अलीयाचक थाना क्षेत्र के घर-घर में जाली नोट का धंधा होता है. यह क्षेत्र बंगलादेश से जुड़ा है. यहां का बोर्डर इलाका खुला है. बीच में नदी है. तस्कर आसानी से नदी पार कर इस इलाके में जाली नोट जमा करते हैं. यहां से देश के कोने- कोने में जाली नोट पहुंचाया जाता है.
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