– लगभग 100 करोड़ का ठगी कर गंगा में डूबने का रचा था स्वांग, भाग गया था पटना
– पटना के मगध होटल के एक कमरे में फंदे पर झूलता मिला उमेश सिंह का शवमुंगेर
———————कासिम बाजार थाना पुलिस आत्महत्या समझ कर बिंदवारा निवासी जिस उमेश कुमार सिह को गोताखोरों के माध्यम से लगातार गंगा में खोजवा रही थी. उसका शव छठें दिन बुधवार को पटना के होटल मगध के एक कमरे में फंदे से झूलता हुआ मिला. खबर मिलते ही जहां परिवारवालों में कोहराम मच गया, वहीं उसे पैसा देने वाले सैकडों परिवार में उदासी छा गयी. क्योंकि अब उनके पैसा वापस होने की रही सही उम्मीद भी खत्म हो गया. विदित हो कि उमेश सिंह कमेटी चला का लगभग 100 करोड़ से अधिक की राशि लोगों का गटक गया और गंगा में डूबने का स्वांग रचा था.
पटना के होटल में मिला उमेश का शव
17 अक्तूबर की सुबह कासिम बाजार थाना क्षेत्र के बिंदवारा निवासी उमेश कुमार सिंह का स्कूटी, कपड़ा सहित कई समान गंगा किनारे दुमंठा घाट पर मिला था. जिसके बाद उसके आत्महत्या करने की बात सामने आयी और गोताखोरों की टीम लगातार गंगा में उसकी खोज में जुट गयी थी. लेकिन उसका अता-पता नहीं चला. इसी बीच बुधवार को पटना के कोतवाली थाना क्षेत्र के डाक बंगला चौराहा के समीप स्टेशन रोड में स्थित मगध होटल के कमरा नंबर-4 में उसका फंदे से झूलता हुआ शव बरामद किया गया. होटल में जमा किये गये आधार कार्ड में उसका नाम उमेश कुमार सिंह, कासिम बाजार थाना क्षेत्र के बिंदवारा गांव पता है. जिसके बाद कासिम बाजार थानाध्यक्ष ने उनके परिवार वालों को सूचना दिया. जिसके बाद उसके परिजन शिनाख्त करने के लिए पटना रवाना हो गये. पटना पुलिस ने यह भी बताया कि मृतक एक सुसाइड नोट अपनी पत्नी के नाम लिख कर छोड़ा है.
भाभी ने थाने में दर्ज करा रखी है लापता की शिकायत
उमेश सिंह 17 अक्तूबर से गायब था. इस मामले में उसकी भाभी रेणू देवी ने थाना में लिखित शिकायत दिया है. जिसमें कहा है कि 17 नंबर की सुबह 4-5 बजे के करीब उठे और स्कूटी लेकर गंगा स्नान करने दुमंठा घाट चले गये. काफी देर तक वह वापस घर नहीं लौटे. पुलिस द्वारा सूचना मिली तो हमलोग थाना पहुंचे तो स्कूृटी व कपड़ा उसके देवर की थी. पुलिस आत्महत्या मानकर उसको गोताखोर के माध्यम से गंगा में खोजवा रही थी.
————————————————————————–करोड़ों रूपये का था देनदार, कमेटी के नाम पर उठाता था पैसा
मुंगेर : उमेश कुमार सिंह कमेटी के नाम पर लोगों से रूपया लेता था और एक लाख का प्रतिमाह 2 हजार की दर से लोगों को ब्याज देता था. यह कारोबार पिछले एक दशक से चल रहा था. स्थानीयबिंदवारा निवासी पंकज सिंह का 30 लाख, धर्मेंद्र सिंह का 2.45 लाख, शशांक सिंह चिंटू का 30 लाख रोजी सिंह का 1.2 करोड़, मनोज सिंह का 2.50 करोड़, रविंद्र सिंह का 25 करोड़, संतोष सिंह का 1.25 करोड़, बाल मुकुंद सिंह का 45 लाख, प्रमोद सिंह का 80 लाख कमेटी में लगा है. इन लोगों का कहना है कि 2 प्रतिशत प्रतिमाह ब्याज देने को कह कर हमलोगों से मोटी रकम वसूला. हर माह ब्याज की राशि मिल रही थी. लेकिन पिछले तीन माह से ब्याज नहीं मिल रहा था. इसके बाद अचानक वह गायब हो गया. जिसका आज शव पटना में मिली है.
उमेश की आत्महत्या पर उठ रहा
सवाल
उमेश कुमार सिंह पिछले 20 वर्ष से कमिटि चला रहा था. उसने 100 करोड़ से अधिक रूपये लोगों से ले रखा था. जिसे वह जमीन कारोबार, शेयर बाजार एवं बड़े-बड़े संवेदक व दुकानदारों को 3 से 5 प्रतिशत ब्याज पर देता था. उसके इस कारोबार में बिंदवारा गांव के दो-तीन लोग व नोलक्खा गांव के एक-दो लोग पार्टन था. वह पिछले छह दिनों से आत्महत्या की साजिश रच कर मुंगेर से फरार हो गया था. शायद वह लोगों की प्रतिक्रिया का आने का इंतजार कर रहा था. लेकिन कमेटी में उसके माध्यम से पैसा लगाने वाले लोग उसके खिलाफ मोर्चा खोल रखा था. ताकि उनका पैसा वापस हो जाय. पल-पल की खबर उसके पार्टनर उसे दे रहा था. छठे दिन उसका शव पटना के होटल में मिला. पत्नी के नाम सुसाइट नोट भी मिला. वह होटल के कमरे में गमछी से पंखे के हुक में फंदा लगा कर आत्महत्या कर दिया. अब सवाल उठता है कि उसे कौन था तो बिंदवारा गांव के गतिविधियों से पल-पल की खबर पहुंचा रहा था. यह जांच का विषय है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

